सीएम साहब, मैं आपका हनुमान, पढ़ें... हरियाणा की राजनीति से जुड़ी और भी रोचक खबरें
राजनीति में कई खबरें ऐसी होती हैैं जो अक्सर मीडिया में सुर्खियां नहीं बन पाती। आइए हरियाणा के साप्ताहिक कॉलम ताऊ की वेबसाइट के जरिये कुछ ऐसी ही खबरों पर नजर डालते हैं।
चंडीगढ़ [अनुराग अग्रवाल]। कुछ लोग अपनी हाजिरजवाबी से छा जाते हैं। हरियाणा वेयरहाउसिंग कारपोरेशन के चेयरमैन नयनपाल रावत ऐसे ही शख्स हैं। वह मुख्यमंत्री मनोहर लाल की आंखों के तारे बने हुए हैं। रावत पृथला से निर्दलीय चुनाव जीते हैं। कुछ दिन पहले मुख्यमंत्री फरीदाबाद व पलवल जिलों के दौरे पर थे। नयनपाल रावत ने जब मुख्यमंत्री को भगवान श्रीराम, लक्ष्मण और सीता जी के चरणों में बैठे हनुमान जी की मूर्ति भेंट की तो माहौल कुछ राजनीतिक और हलका-फुलका हो गया। रावत ने मुख्यमंत्री से हनुमान जी की तरफ इशारा करते हुए कहा, सर.... आपके लिए यह मैं हूं। मुख्यमंत्री मंद-मंद मुस्कुरा पड़े। थोड़ी देर बाद यही मूर्ति उन्हेंं केंद्रीय राज्य मंत्री कृष्णपाल गुर्जर को देनी पड़ी। पास खड़े एक भाजपा नेता ने चुटकी लेनी चाही और पूछा कि इस मूर्ति में अब आप कहां हैं। रावत बोले, इस मूर्ति में भी मैं कृष्णपाल जी के लिए हनुमान की भूमिका में ही हूं।
गाय और योग पर भाजपा का पेंटेंट नहीं
गाय और योग पर किसी राजनीतिक दल का पेटेंट नहीं है, लेकिन कांग्रेस वाले शायद सोचते हैं कि इन पर भाजपा का पेंटेंट हैं। पिछली विधानसभा में जब तत्कालीन कांग्रेस विधायक करण सिंह दलाल ने स्वामी रामदेव के उत्पादों पर सवाल उठाए तो भाजपा बचाव में आई। पर हुड्डा दलाल की बात पर बोले, स्वामी रामदेव मेरे भी अजीज हैं और मैं भी योग करता हूं। इस बार विधानसभा में गायों की कम खुराक की बात उठी तो हुड्डा ने कहा-मैं भी गोभक्त हूं। मैंने भी सीएम निवास पर गाय पाल रखी थी। अब पिछले सप्ताह गीता मनीषी स्वामी ज्ञानानंद जी महाराज ने हुड्डा को एक कार्यक्रम में आमंत्रित कर लिया। हुड्डा ने स्वामी जी के साथ गाय की पूजा की और उसे तिलक करते हुए फोटो खिंचवाया। अब हुड्डा तो ठहरे बुद्धिमान नेता। अनुभवी। मंजे हुए, लेकिन वह उन कांग्रेसियों का क्या करें, जो उलटे सीधे बयान देते रहते हैं।
गोपाल कांडा के भाजपा प्रेम के मायने
सिरसा से चुनाव जीते गोपाल कांडा इस बार अपनी हरियाणा लोकहित पार्टी से जीते हैं। प्रदेश में जब भाजपा की सरकार बन रही थी, कांडा तभी भाजपा को अपना समर्थन देना चाह रहे थे, लेकिन उमा भारती ने एयरहोस्टेस गीतिका सुसाइड केस का हवाला देते हुए पुराने जख्म कुरेद डाले। अब कांडा सिरसा में नगर परिषद की चेयरमैन अपनी पसंद की बनवाना चाहते हैं, लेकिन कुछ पार्षद हैं, जो काबू नहीं आ रहे। कांडा ने फिलहाल उन्हेंं भाजपा के हवाले छोड़ दिया है और कहा है कि जब भाजपाई उन्हेंं मनाने में फेल हो जाएं तो मुझे बता दें। मैं ट्राई कर लूंगा। हालांकि सिरसा की एक अन्य सीट रानिया से निर्दलीय चुनाव जीते बिजली मंत्री रणजीत चौटाला की तो उनकी स्थानीय राजनीति में दिलचस्पी नहीं। ठीक भी है। प्रदेश के मंत्री हैं। पूरा प्रदेश देखना है। कहीं भी बेवजह टांग नहीं अड़ाते, इसीलिए तो मुख्यमंत्री मनोहर के प्रिय हैं।
यह तो ठीक नहीं
हरियाणा के मुख्यमंत्री कार्यालय में तैनात उनके ओएसडी भूपेश्वर दयाल आजकल कर्मचारियों और आम लोगों के तारणहार बने हुए हैं। जब जवाहर यादव सीएम के ओएसडी थे, तब उनके पास कर्मचारी संगठनों और नेताओं की भीड़ जमी रहती थी। कोई आंदोलन ऐसा नहीं था, जिसमें जवाहर यादव ने आगे बढ़कर कर्मचारियों की मदद नहीं की। साम, दाम, दंड और भेद के जरिये जवाहर यादव ने सीएम कार्यालय के विरुद्ध होने वाले तमाम आंदोलनों को एक ठहराव देते हुए नतीजों के मुकाम तक पहुंचाया। अब जवाहर यादव परदे के पीछे रहकर काम कर रहे हैं, लेकिन उनका स्थान विधिवत रूप से भूपेश्वर दयाल ने ले लिया है। वह कर्मचारी नेताओं और संगठनों की बात सुनते हुए उन्हेंं मुख्यमंत्री तक पहुंचाते हैं। इससे लोग खुश भी हैं, लेकिन तबादले करने वाले ओएसडी एचसीएस अधिकारी सतीश कुमार की कार्य प्रणाली से विधायकों में नाराजगी बन रही है। विधायकों की संस्तुतियां अटकी रहती हैं।