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मायावती के पास पहुंचा अभय व करण दलाल का जूता प्रकरण, गठबंधन तोड़ने को पत्र

कांग्रेस नेता करण दलाल और इनेलाे नेता अभय चौटाला का विवाद बसपा सुप्रीमो मायावती के पास पहुंच गया है। दलाल ने मायावती को पत्र लिखकर बसपा का इनेलो से गठजोड़ तोड़ने का आग्रह किया है।

By Sunil Kumar JhaEdited By: Published: Fri, 14 Sep 2018 06:23 PM (IST)Updated: Sat, 15 Sep 2018 08:51 AM (IST)
मायावती के पास पहुंचा अभय व करण दलाल का जूता प्रकरण, गठबंधन तोड़ने को पत्र
मायावती के पास पहुंचा अभय व करण दलाल का जूता प्रकरण, गठबंधन तोड़ने को पत्र

जेएनएन, चंडीगढ़। हरियाणा विधानसभा में विपक्ष के नेता अभय सिंह चौटाला और कांग्रेस विधायक करण सिंह दलाल के बीच हुआ विधानसभा जूता प्रकरण बसपा अध्यक्ष मायावती के दरबार में पहुंच गया है। करण दलाल ने मायावती को पत्र लिखा है। उन्‍हाेंने इनेलो और अभय चौटाला को एससी-एसटी विरोधी बताते हुए हरियाणा में बसपा का इनेलो से बसपा का गठबंधन तोड़ने का अाग्रह किया है।

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करण दलाल ने मायावती को लिखी चिट्ठी में की इनेलो से गठबंधन तोड़ने की मांग

बता दें कि दलाल ने चौटाला के खिलाफ चंडीगढ़ पुलिस में भी शिकायत दे रखी है। शिकायत में उन्‍होंने अभय चौटाला पर जान से मारने की धमकी देने का अारोप लगाया है। लेकिन, दो बड़े नेताओं के बीच आपसी विवाद के चलते चंडीगढ़ पुलिस ने फिलहाल इस पर चुप्पी साध रखी है। दूसरी ओर, चौटाला का कहना है कि उनके खिलाफ पुलिस में शिकायत देने की दलाल की पुरानी आदत है।

कांग्रेस की भी बसपा से गठबंधन पर निगाह, पूर्व सीएम हुड्डा खुले ताैर पर जता चुके हैं इच्‍छा

करण दलाल ने नया दांव खेलते हुए बसपा अध्यक्ष मायावती को चिट्ठी लिखी और इनेलो के साथ गठबंधन तोड़ने का आग्रह किया है। बता दें कि हरियाणा में कांग्रेस भी बसपा से गठबंधन करने की इच्‍छुक है। पूर्व मुख्‍यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा ऐसी इच्‍छा खुले रूप में जता चुके हैं। ऐसे में करण दलाल के पत्र को इससे भी जोड़ कर देखा जा रहा है। राज्य में इनेलो व बसपा के बीच राजनीतिक गठजोड़ है। दोनों दल एसवाईएल नहर निर्माण के मुद्दे पर एक साथ जेल भरो आंदोलन चला चुके हैं।

बता दें कि गरीबों का राशन बंद करने तथा ऐसा करने पर सरकार पर हरियाणा को कलंकित करने के दलाल के आरोपों के बाद विधानसभा में हंगामा हो गया। इस मुद्दे पर अभय चौटाला व करण दलाल के बीच जूते निकल गए थे, जिससे सदन की मर्यादा तार-तार हुई है। चौटाला और दलाल परिवारों के बीच पुरानी राजनीतिक दुश्मनी है।

विधानसभा में जूते निकलने के बाद करण दलाल ने चौटाला के खिलाफ चंडीगढ़ पुलिस में शिकायत दी। करण दलाल का कहना है कि चौटाला का एक वीडियो भी है, जिसमें वह कह रहे हैं कि उस समय यदि मेरे पास रिवाल्वर होती तो मैं गोली भी चला सकता था। सांसद दुष्यंत चौटाला ने अभय के इस बयान को गलत ढंग से पेश करने का आरोप लगाया है।

यह भी पढ़ें: जूते से गोली तक पहुंची बात, करण दलाल की चुनाैती पर चौटाला बोले नौटंकी मत करो

चौटाला के इस बयान के बाद दलाल ने उन्हें गोली मारने की खुली चुनौती दी, जिसके बाद चौटाला ने कहा कि करण दलाल जैसे लोगों को मारने की क्‍या जरूरत है। चुनाव में उन्‍हें वैसे ही जनता राजनीतिक मौत दे देगी। सोशल मीडिया पर दोनों दिग्गज नेताओं की यह लड़ाई खूब चर्चित हो रही है।

करण दलाल ने मायावती को लिखी चिट्ठी में विधानसभा में हुए झगड़े का पूरा ब्यौरा दिया है। उन्होंने लिखा है कि वह 25 लाख राशनकार्ड रद करने के सरकार के फैसले पर विरोध जता रहे थे, लेकिन अभय चौटाला ने उनका साथ देने की बजाय सरकार का साथ दिया और उनके विधानसभा से निलंबन की मांग उठाई।

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दलाल ने अपने पत्र में मायावती के संसदीय कार्य प्रणाली के लंबे अनुभव का जिक्र करते हुए कहा कि गरीबों के हक की लड़ाई लड़ना कोई गुनाह नहीं है। जिस पार्टी के साथ बसपा ने गठबंधन किया है, वह गरीबों के हक के खिलाफ है। दलाल ने अपने पत्र में मायावती को बताया कि अनुसूचित जाति/जनजाति एक्ट के विरोध में सर्वजातीय प्रदर्शन में इनेलो के कार्यकर्ताओं ने बढ़चढ़ कर भागीदारी की थी। उन्होंने मायावती से बसपा के इनेलो से गठबंधन पर पुनर्विचार करने का आग्रह किया है। 

चंडीगढ़ पुलिस ने किए हाथ खड़े, स्पीकर खुद देखेंगे मामला

चंडीगढ़ की सेक्टर तीन पुलिस ने अभी तक दलाल की शिकायत पर कोई कार्रवाई नहीं की है। दलाल ने आरोप लगाया कि चंडीगढ़ पुलिस सरकार के दबाव में कोई कार्रवाई नहीं कर रही है। उधर, पुलिस का कहना है कि विधानसभा के भीतर के ऐसे मामलों के अक्सर स्पीकर ही सुलझाते हैं। यह मामला भी हमें स्पीकर के स्तर का लगता है। इसके बावजूद दलाल द्वारा दी गई शिकायत की जांच की जा रही है, लेकिन पूर्व के मामलों की अगर पड़ताल की जाए तो विधानसभा परिसर के तमाम विवाद चंडीगढ़ पुलिस की कार्रवाई से अछूते रहे हैं।

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