अब खत्म होंगे जमीन के झगड़े, हाउसिंग सोसायटी के फ्लैट और प्लॉट का ब्योरा होगा ऑनलाइन
हरियाणा में हाउसिंग सोसायटी के फ्लैट और प्लॉटों को लेकर विवाद खत्म होंगे। राज्य में ऐस फ्लैट और प्लॉटों का ब्योरा ऑनलाइन होगा।
चंडीगढ़, जेएनएन। हरियाणा में ग्रुप हाउसिंग सोसायटी व हाउस बिल्डिंग सोसायटी से जुड़े फ्लैट और प्लॉटों के विवाद अब समाप्त हो जाएंगे। प्रदेश में ग्रुप हाउसिंग सोसायटी व हाउस बिल्डिंग सोसायटी के आंकड़े ऑनलाइन किए जाएंगे। राज्य में 1200 ग्रुप हाउसिंग सोसायटी व हाउस बिल्डिंग सोसायटी हैं। इनका पूरा डाटा ऑनलाइन किया जाएगा। अभी तक 400 सोसायटी का डाटा सहकारिता विभाग के पोर्टल पर अपलोड किया जा चुका है। इन समितियों में प्लॉट व फ्लैट लेने के इच्छुक लोग पोर्टल पर जमीन से जुड़ी तमाम तरह की जानकारी ले सकेंगे जिससे फर्जीवाड़े की आशंका नहीं रहेगी।
सभी 1200 ग्रुप हाउसिंग सोसायटी व हाउस बिल्डिंग सोसायटी की पूरी जानकारी मिलेगी पोर्टल पर
पूर्व में चले आ रहे भूमि विवादों को निपटाने के लिए प्रदेश सरकार पहले ही हरियाणा रीयल एस्टेट रेगुलेटरी अथॉरिटी (हरेरा) का गठन कर चुकी है। ग्रुप हाउसिंग सोसायटी व हाउस बिल्डिंग सोसायटी का डाटा ऑनलाइन होने से प्लॉट या भवन खरीदने की तैयारी कर रहे लोगों को काफी मदद मिलेगी।
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पोर्टल पर सहकारी समिति का नाम, पंजीकरण संख्या व तिथि, सदस्यों की संख्या, समिति के चुनाव व पदाधिकारियों की विस्तृत जानकारी के साथ ही समितियों को जमीन कब अलॉट हुई, कब्जा व दखल प्रमाणपत्र की तिथि, पिछले ऑडिट, भवन योजना की स्वीकृति, कौन सा प्लाट व फ्लैट किस सदस्य के नाम पर है तथा रहन, समिति की देनदारियों का पूरा ब्योरा होगा। कोई भी व्यक्ति जो इन समितियों में प्लॉट व फ्लैट लेना चाहता है, वह ऑनलाइन पोर्टल पर जाकर पूरी जानकारी ले सकेगा। इससे जमीनी सौदों में गड़बड़ी की कोई आशंका नहीं रहेगी।
15 अगस्त तक सभी समितियां ऑनलाइन : ग्रोवर
''प्रदेश की सभी सहकारी समितियों को रिकार्ड ऑनलाइन करने के निर्देश दिए गए हैं। इससे सहकारी समितियों व सहकारिता विभाग की कार्यप्रणाली में पारदर्शिता आएगी। 15 अगस्त तक सभी समितियों का डाटा अपलोड कर दिया जाएगा जिसके बाद किसी भी समिति का मेंबरशिप स्थानांतरण ऑनलाइन ही किया जाएगा। प्रदेश में 10 हजार 500 पंजीकृत सहकारी समितियां हैं जिनमें सहकारी ऋण एवं सेवा समितियां (पैक्स), श्रम एवं निर्माण समितियां, ग्रुप हाउसिंग, हाउस बिल्डिंग समितियां व परिवहन समितियां शामिल हैं। अब विभाग में कोई भी सहकारी समिति मैन्युअली पंजीकृत नहीं की जा रही हैं। सभी सहकारी समितियों को निर्देश है कि समिति से संबंधित रिकॉर्ड व जानकारी विभाग के वेब पोर्टल पर डालें।
- मनीष कुमार ग्रोवर, सहकारिता राज्य मंत्री, हरियाणा।
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