किसानों के लिए खुला ‘मेरी फसल-मेरा ब्यौरा’ पोर्टल, 19 तक करवा सकते हैं पंजीकरण
सरकार ने गेहूं की खरीद के लिए किसानों का ‘मेरी फसल-मेरा ब्यौरा’ पोर्टल पर पंजीकरण शुरू करवा दिया है।
जेएनएन, चंडीगढ़। हरियाणा सरकार ने गेहूं की खरीद के लिए किसानों का ‘मेरी फसल-मेरा ब्यौरा’ पोर्टल पर पंजीकरण शुरू करवा दिया है। उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला के अनुसार सरसों की खरीद 15 तो गेहूं की खरीद 20 अप्रैल तक होगी और इसके लिए किसान 19 अप्रैल तक पोर्टल पर पंजीकरण करा सकते हैं। उप-मुख्यमंत्री के पास खाद्य, नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता विभाग भी है। उन्होंने यहां खरीद प्रबंधों की समीक्षा के लिए बुलाई गई एक बैठक की अध्यक्षता की। बैठक में कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री जयप्रकाश दलाल तथा आढ़ती एसोसिएशन के पदाधिकारी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से शामिल हुए।
इस बैठक में जानकारी दी गई कि सरसों की खरीद के लिए 140 मंडियां, जबकि गेहूं की खरीद के लिए लगभग दो हजार मंडी, उप-मंडी व खरीद केंद्र निर्धारित किए गए हैं। किसानों को बारदानेे की कोई कमी नहीं रहने दी जाएगी। इस बार प्रतिदिन 1.5 लाख मीट्रिक टन गेहूं की खरीद करने का प्रस्ताव है। किसानों को सरसों व गेहूं की खरीद के लिए ‘मेरी फसल-मेरा ब्यौरा’ पोर्टल के आधार पर दी गई जानकारी के अनुसार कूपन दिए जाएंगे, ताकि मंडियों में किसान एक साथ उपज लेकर किसान न आएं और निर्धारित तिथि के अनुसार ही विशेष गांवों के किसान क्रमवार अपनी उपज मंडियों में लेकर आएं।
बैठक में निर्णय लिया गया कि जिन किसानों ने ‘मेरी फसल-मेरा ब्यौरा’ पोर्टल पर पंजीकरण करवाया है, उनकी उपज की खरीद प्राथमिकता आधार पर की जाएगी। अब तक लगभग 60 प्रतिशत किसानों ने गेहूं की फसल का पंजीकरण करवाया है, जबकि 40 प्रतिशत किसानों ने अब तक पंजीकरण नहीं करवाया है। बैठक में आढ़ती एसोसिएशन ने आश्वासन दिया कि वे अपनी 2.5 प्रतिशत आढ़त में से 0.10 प्रतिशत राशि ‘हरियाणा कोरोना रिलीफ फंड’ में सहयोग के रूप में देंगे। बैठक में इस बात का निर्णय भी लिया गया कि लॉकडाउन के चलते देरी से गेहूं की खरीद आरंभ होने के कारण केंद्र सरकार जो दिशा-निर्देश देगी, उसी के अनुरूप किसानों को बोनस या प्रोत्साहन राशि दी जाएगी। इस बार गेहूं की खरीद जून माह तक चलने की संभावना है।
सरसों समर्थन मूल्य से कम पर बेचने को मजबूर हुए किसान :अभय चौटाला
इनेलाे नेता अभय चौटाला ने राज्य सरकार के 15 अप्रैल से सरसों और 20 अप्रैल से गेहूं की फसल खरीदने संबंधी बयान पर कहा है कि सरसों के किसान तो अपनी फसल को समर्थन मूल्य से कम पर देने को मजबूर हो रहे हैं। उन्होंने कहा कि मेवात क्षेत्र में सरसों की फसल की आवक तो फरवरी के आखिरी हफ्ते में मंडियों में आनी शुरू हो जाती है। रेवाड़ी-नारनौल में मार्च माह के दौरान तैयार हो जाती है। अब इस क्षेत्र के किसान सीधे कारखानों में समर्थन मूल्य से कम भाव पर सरसों बेचने पर मजबूर हैं।
इनेलो नेता ने कहा कि गेहूं की खरीद 20 अप्रैल से पहले शुरू की जाए तो किसानों को भंडारण की व्यवस्था से छुटकारा मिल सकता है। सरकार चार या पांच गांवों के ग्रुप बनाकर सरसों व गेहूं की खऱीद शुरू कर सकती है। इससे खरीद एजेंसी के अधिकारियों को भी सुविधा होगी। किसानों को भी सहूलियत होगी। अभी तक खऱीद के बारे में मंडियों में खरीद एजेंसियों द्वारा प्रबंध न के बराबर हैं। अभी तक यह भी सुनिश्चित नहीं कि कौन सी एजेंसी का किस मंडी में कितनी गेहूं व सरसों की खऱीद का लक्ष्य निर्धारित किया गया है।
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