अल्पसंख्यक बच्चों का शैक्षिक स्तर सुधारेगी सरकार, मदरसों में पढ़ाया जाएगा गणित-विज्ञान
हरियाणा में सीबीएसई की तर्ज पर मदरसों को गणित-विज्ञान, सामाजिक विज्ञान और अंग्रेजी जैसे जरूरी विषय भी पढ़ाने होंगे।
जेएनएन, चंडीगढ़। राज्य में चल रहे मदरसों की हालत सुधारने के लिए सरकार केंद्र की पॉलिसी लागू करेगी। सीबीएसई की तर्ज पर इन मदरसों को न केवल गणित-विज्ञान, सामाजिक विज्ञान और अंग्रेजी जैसे जरूरी विषय पढ़ाने होंगे, बल्कि मान्यता प्राप्त शिक्षा बोर्ड से मान्यता लेना भी अनिवार्य किया गया है। अल्पसंख्यक बच्चों को शिक्षा का बुनियादी हक दिलाने के लिए सरकार ने गाइडलाइंस जारी कर दी है।
केंद्रीय मानव संसाधन विकास मंत्रालय ने हाल ही में मदरसों को लेकर नई पॉलिसी बनाते हुए राज्यों से भी इसे लागू करने का अनुरोध किया है। इससे अल्पसंख्यक शिक्षा को बढ़ावा देने और अल्पसंख्यक शिक्षण संस्थानों में सुधार में मदद मिलेगी। प्रदेश में वर्तमान में करीब 20 फीसद मदरसे ही पंजीकृत हैं। शेष 80 फीसद मदरसे बगैर पंजीकरण के ही छात्रों को परंपरागत तरीके से तालीम देने में लगे हैं।
मदरसों में शिक्षा का स्तर और बुनियादी ढांचा मजबूत करने के लिए मुख्य सचिव की अगुवाई में एक राज्य स्तरीय कमेटी भी बनाई जाएगी जिसमें शिक्षा सचिव और अल्पसंख्यक मामलों के सचिव शामिल होंगे। मदरसों के लिए यूनिक आइडेंटिफिकेशन अनिवार्य करने की भी योजना है ताकि जीपीएस की मदद से इनकी लोकेशन आसानी से ट्रेस की जा सके। मदरसों के छात्रों के लिए बेहतर उच्च शिक्षा की उपलब्धता और फंड के खर्च में जवाबदेही भी तय की जाएगी। स्टाफ की तनख्वाह और सभी तरह के फंड बैंक खातों में आएंगे ताकि इनके दुरुपयोग की आशंका न रहे।