मुंह-खुर एवं गलघोटू के लगाए जा रहे पशुओं को टीके
पशु पालन विभाग की तरफ से पशुओं को मुंह-खुर एवं गलघोटू टीकाकरण अभियान चलाया है। इसके तहत डोर-टू-डोर जाकर पशुओं को टीम टीके लगा रही है।
जागरण संवाददाता, कैथल:
पशु पालन विभाग की तरफ से पशुओं को मुंह-खुर एवं गलघोटू टीकाकरण अभियान चलाया है। इसके तहत डोर-टू-डोर जाकर पशुओं को टीम टीके लगा रही है। शनिवार को किठाना, कसान व गुलियाणा गांव में टीके लगाए गए है। पशुओं को बदलते मौसम को देखते हुए बीमार होने की सबसे ज्यादा आशंका रहती है। इस बीमारी की रोकथाम के लिए एचएस व एफएमडी के टीके निशुल्क विभाग हर साल लगाता है। इस टीकाकरण के छह महीने तक पशु मुंह खुर व गलघोटू की बीमारी से सुरक्षित रहते है। जिससे पशुओं को उससे होने वाले नुकसान से बचाया जा सकता है। गलघोटू पशुओं में खतरनाक बीमारी होती है जिससे पशु की मौत हो जाती है। समय से पहले अगर इसकी रोकथाम की जाए तो होने वाले नुकसान से बचा सकता है। इसलिए हमें चाहिए कि 6 महीने बाद पशुओं का टीकाकरण अवश्य करवा लेना चाहिए।
जिलेभर में किया जा रहा है टीकाकरण
कृषि विभाग के एसडीओ वरूण कुमार ने बताया कि छह महीने में मुंह-खुर एवं गलघोटू के टीके पशुपालक को लगा लेने चाहिए ताकि पशुओं को बीमारियों से बचाया जा सके। हर छह महीने में विभाग की तरफ से टीके लगाए जाते है।