भगवान भरोसे चिल्ड्रन पार्क, शौचालय साफ न पीने को पानी
शुक्रवार शाम करीब आठ बजे नगर परिषद की टीम चिल्ड्रन पार्क में निरीक्षण करने के लिए पहुंची। टीम के साथ नप चेयरपर्सन सीमा कश्यप भी मौजूद रहीं। कई दिनों से पार्क में अव्यवस्था फैलने की सूचना मिल रही थी।
जागरण संवाददाता, कैथल : शुक्रवार शाम करीब आठ बजे नगर परिषद की टीम चिल्ड्रन पार्क में निरीक्षण करने के लिए पहुंची। टीम के साथ नप चेयरपर्सन सीमा कश्यप भी मौजूद रहीं। कई दिनों से पार्क में अव्यवस्था फैलने की सूचना मिल रही थी। निरीक्षण के दौरान पार्क में लगी आधी से ज्यादा लाइटें खराब मिलीं। सैर करने वाली पटरी पर अंधेरा था। पार्क में कहीं भी साफ-सफाई नहीं थी। चिल्ड्रन और जवाहर पार्क की देखभाल के लिए 31 कर्मचारी लगाए गए हैं। केवल दो कर्मचारी हाजिर पाए गए। कुछ महीने पहले ही दोनों पार्को में करीब 50 लाख रुपये के विकास कार्य कराए गए थे। दोनों पार्को को नया रूप दिया गया था। सभी लाइटें भी नई लगाई गई थीं। पार्क में फैली अव्यवस्था को लेकर चेयरपर्सन ने ठेकेदार से सोमवार तक जवाब मांगा है। काम में लापरवाही पाई गई, तो ठेकेदार का ठेका भी रद किया जा सकता है। दोनों पार्क शहर के बिलकुल बीच में हैं। सुबह-शाम हजारों लोग पार्को में सैर के लिए आते हैं। ऐसे में लाखों रुपये खर्च करने के बाद भी लोगों को सुविधाएं नहीं मिल रही हैं। निरीक्षण के दौरान एडिशनल एमई रमेश वर्मा, जेई मोहित, चेयरपर्सन प्रतिनिधि सुरेश कश्यप, पार्षद प्रतिनिधि धर्मबीर भोला मौजूद थे।
शौचालय मिले बदहाल
चिल्ड्रन पार्क में लोगों के लिए शौचालय बनाए गए हैं। दोनों ही बदहाल अवस्था में पाए गए हैं। पानी की भी ठीक से व्यवस्था नहीं की गई है। पार्क में एक वाटर कूलर लगाया गया था, जो खराब हो चुका है। डीसी सुनीता वर्मा भी दो बार पार्को का निरीक्षण कर चुकी है। निरीक्षण के बाद कुछ दिन व्यवस्था ठीक रहती है, लेकिन उसके बाद कोई संभाल नहीं होती।
सीसीटीवी पड़े हैं खराब
पार्क में चार सीसीटीवी कैमरे लगाए गए हैं। करीब तीन साल से सभी कैमरे खराब पड़े हैं। दो कैमरे पार्क के मुख्य गेट पर लगे हैं। कैमरे खराब होने के कारण कई बार लोगों के वाहन चोरी हो चुके हैं। पार्क में कोई भी आपराधिक घटना हो सकती है। इनके लिए सीसीटीवी कैमरों का ठीक होना बहुत जरूरी है।
इस तरह काम करते हैं 31 कर्मचारी
जवाहर और चिल्ड्रन पार्क में कुल 31 कर्मचारी लगाए गए हैं। इनमें से चार गार्ड रात के समय ड्यूटी पर रहते हैं। दिन में चार गार्ड, आठ माली, आठ स्वीपर, दो बोटमैन, एक टिकट ऑपरेटर, एक टॉय ऑपरेटर, दो फाउंटेन ऑपरेटर, एक मनोरमा में काम करता है। नप चेयरपर्सन सीमा कश्यप ने बताया कि दोनों पार्को पर पिछले दिनों करीब 50 लाख रुपये खर्च किए गए थे। कुछ दिनों से पार्क में अव्यवस्था फैलने की सूचना मिल रही थी। निरीक्षण काफी खामियां मिली हैं। सोमवार तक ठेकेदार से जवाब मांगा गया है।