संस्कृत भाषा को सीखना हर किसी के लिए जरूरी : द्विवेदी
महर्षि वाल्मीकि संस्कृत विश्वविद्यालय की ओर से संस्कृत संभाषण कार्यशाला की शुरुआत हुई। इसमें भिन्न-भिन्न राज्यों से संस्कृत को सीखने के लिए प्रतिभागियों ने कार्यशाला में अपना पंजीकरण करवाया।
जागरण संवाददाता, कैथल : महर्षि वाल्मीकि संस्कृत विश्वविद्यालय की ओर से संस्कृत संभाषण कार्यशाला की शुरुआत हुई। इसमें भिन्न-भिन्न राज्यों से संस्कृत को सीखने के लिए प्रतिभागियों ने कार्यशाला में अपना पंजीकरण करवाया।
इस कार्यक्रम में करनाल भारत संचार निगम हरियाणा के जीएम सुदीप कुमार मुख्य अतिथि के रूप में मौजूद रहे। उन्होंने अपने भाषण में कहा संस्कृत सभी भाषाओं की जननी है, इसे हम सब को सीखना चाहिए।
कुलपति डा. श्रेयांश द्विवेदी ने मुख्य अतिथि का धन्यवाद करते हुए कहा आज संस्कृत को जानना हर किसी के लिए बहुत जरुरी है। इस संस्कृत संभाषण कार्यशाला का आयोजन 25 जुलाई से 10 अगस्त तक होगा। इसमें संपूर्ण भारत से संस्कृत को सीखने के लिए इच्छुक प्रतिभागियों को सम्मिलित किया गया। कार्यशाला में मुख्य शिक्षक के रूप में आचार्य दीपक कौशिक ने सबका संस्कृत में परिचय लिया। सह शिक्षक अनिल शास्त्री ने कार्यशाला में मंच संचालन किया।
इस कार्यक्रम में संयोजक के रूप में विश्वविद्यालय के ज्योतिष विभाग के डा. नवीन शर्मा, डा. मदन मोहन तिवारी, डा. विनय गोपाल त्रिपाठी, तकनीकी सहयोगी गवीश द्विवेदी मौजूद रहे।