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मंडियों में पहले दिन नहीं हुई धान की सरकारी खरीद, किसानों में रोष

मंडियों में धान का सीजन शुरू होते ही आवक तेज हो गई है लेकिन सरकारी खरीद नहीं होने और भाव नहीं मिलने से किसान मायूस हैं। सरकार ने शनिवार को पीआर की सरकारी खरीद के आदेश जारी किये थे।

By JagranEdited By: Published: Mon, 28 Sep 2020 06:41 AM (IST)Updated: Mon, 28 Sep 2020 06:41 AM (IST)
मंडियों में पहले दिन नहीं हुई धान  की सरकारी खरीद, किसानों में रोष
मंडियों में पहले दिन नहीं हुई धान की सरकारी खरीद, किसानों में रोष

जागरण संवाददाता, कैथल : मंडियों में धान का सीजन शुरू होते ही आवक तेज हो गई है, लेकिन सरकारी खरीद नहीं होने और भाव नहीं मिलने से किसान मायूस हैं। सरकार ने शनिवार को पीआर की सरकारी खरीद के आदेश जारी किये थे। शाम तक भी मंडियों में पीआर धान खरीदने के लिए एजेंसियों के अधिकारी नहीं पहुंचे। हैफेड, डीएफएससी, वेयर हाउस और एफसीआइ ने मंडियों से धान की खरीद शुरू करनी है।

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मंडी में धान लेकर आए किसानों ने बताया कि पीआर धान की प्राइवेट खरीद 1400 से 1450 तक ही बिक रही है, जबकि सरकारी भाव 1888 हैं। इस कारण किसानों को 500 रुपये तक का नुकसान उठाना पड़ रहा है। सरकारी खरीद का कार्य 15 सितंबर से शुरू होना चाहिए, लेकिन ऐसा नहीं किया जा रहा है। वहीं 1509 धान के भाव भी मात्र 1800 से 1900 तक सिमट कर रहे गए हैं। पिछले साल 2700 से 2800 तक यह किस्म बिकी थी। दोनों धान के भाव कम मिलने से किसानों में रोष है।

वहीं पीआर धान की सरकारी खरीद को लेकर मार्केट कमेटी के अधिकारियों का कहना है कि सरकारी खरीद को लेकर आदेश तो मिल चुके हैं, लेकिन शेड्यूल नहीं आया है। जब तक शेड्यूल जारी नहीं होगा वे खरीद का कार्य कैसे शुरू करवा सकते हैं।

काफी नुकसान उठाना पड़ रहा है : चांदी राम

प्यौदा गांव निवासी चांदी राम ने बताया कि 1509 धान लेकर मंडी में आया था। 1925 रुपये ही भाव मिला। इस भाव में खर्च तक पूरा नहीं होता। उसने यह सोचकर 1509 लगाई थी कि इस बार अच्छे भाव मिलेंगे, लेकिन सभी सपने अधूरे रह गए। इस बार काफी नुकसान उठाना पड़ेगा।

इंतजार में बैठा हूं : सुरेंद्र

गांव दौलतपुरा निवासी सुरेंद्र कुमार ने बताया कि पीआर धान लेकर आया था। इस बार पीआर के 20 और 1509 के 15 किले लगाए हुए हैं, लेकिन दोनों ही किस्म के धान के भाव कम मिलने से काफी नुकसान उठाना पड़ रहा है। सरकार ने शनिवार को आदेश दिये थे कि रविवार सुबह से मंडियों में सरकारी खरीद पीाअर की शुरू हो जाएगी, लेकिन आज नहीं हो पाई। यहां फसल की रखवाली करने को मजबूर हो रहे हैं।

पंजाब में अच्छा भाव है : बलजिद्र

तईपुरा गांव निवासी बलजिद्र ने बताया कि इस बार हरियाणा की मंडियों में 1509 के भाव कम हैं। पंजाब में 2200 से 2300 रुपये में बिक रही है, लेकिन यहां भाव कम मिलने से किसानों को नुकसान हो रहा है। इस बार धान में खर्च भी पूरा नहीं होगा। कैसे किसान खेती कर पाएगा।

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बिना राइस मिलरों के नहीं बेचेंगे धान : खुरानिया

पुरानी अनाज मंडी के प्रधान श्याम बहादुर खुरानिया ने बताया कि रविवार शाम को एसडीएम संजय कुमार ने मार्केट कमेटी कार्यालय में बैठक बुलाई थी। इसमें आढ़तियों ने यही मांग रखी कि खरीद एजेंसियों के साथ राइस मिलर आएगा तो वे सरकारी खरीद का कार्य शुरू करेंगे, नहीं हो धान नहीं बचेंगे। अगर एजेंसियों को धान बेचा तो राइस मिलर उसमें कमियां निकालेंगे, इससे आढ़तियों को नुकसान होगा। एसडीएम ने आढ़तियों की मांग को प्रशासन और सरकार तक पहुंचाने का आश्वासन दिया।

पाई अनाज मंडी में नहीं हुई खरीद

संस, पाई : पाई की अनाज मंडी में खरीद के दूसरे दिन रविवार को भी किसानों की एमएसपी वाली धान की खरीद नहीं हो सकी। खरीद एजेंसी के अधिकारियों ने सोमवार को खरीद शुरू करने का आश्वासन दिया था।

मार्केट कमेटी सचिव गुलाब सिंह नैन ने बताया कि पाई अनाज मंडी में एफसीआइ के द्वारा खरीद की जानी है। लिखित और फोन पर इस खरीद एजेंसी के अधिकारियों को खरीद करने के लिये कहा था तो उन्होंने सोमवार से किसानों की धान की खरीद शुरू करने की बात कही है। उधर मंडी प्रधान राजेश ढुल ने भी बताया कि उन्होंने भी खरीद शुरू करने की कही थी, लेकिन उन्हें भी सोमवार से खरीद शुरू करने को कहा है। वे खरीद एजेंसी को किसानों की धान तक बेचेंगे, जब खरीद एजेंसी उसको उठाने की पक्की गारंटी देगी।


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