शिक्षक व शिक्षा के हित में नहीं सरकार की स्थानांतरण नीति
23 कैथल जिला शिक्षा कार्ययालय में प्रदर्शन करते हरियाणा विद्यालय अध्यापक संघ के सदस्य। जागरण
जागरण संवाददाता, कैथल : प्रदेश सरकार की स्थानांतरण नीति की कमियों के विरोध में हरियाणा विद्यालय अध्यापक संघ ने जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय पर धरना दिया। धरने की अध्यक्षता संघ के जिला प्रधान विजेंद्र मोर ने की व संचालन जिला सचिव रामपाल शर्मा ने किया। संघ के राज्य सचिव कंवरजीत व जयप्रकाश शास्त्री ने कहा कि पिछले पांच वर्ष में हरियाणा सरकार शिक्षा विभाग से संबंधित एक ही उपलब्धि बार-बार गिनवा रही है। सरकार का कहना है कि अध्यापकों के लिए ऑनलाइन स्थानांतरण नीति बनाई है। शिक्षा मंत्री के अनुसार 12 अन्य राज्य भी इस नीति का अनुसरण करने की सोच रहे हैं, लेकिन हरियाणा में इस नीति को जिस तरह क्रियांवित किया जा रहा है वह न तो शिक्षक हित में है और न ही शिक्षा व छात्र हित में है। सर्वप्रथम न्यूनतम एक सप्ताह पहले प्रत्येक गतिविधि के लिए उचित समय देते हुए शेड्यूल जारी किया जाना चाहिए। संघ ने मांग की है कि तीन वर्ष पूर्व एनीवेटर में स्थानांतरित अध्यापकों को पहले अवसर प्रदान किया जाए। स्थानांतरण में मुख्य शिक्षक को बतौर प्राथमिक शिक्षक शामिल किया जाए। अंतर जिला स्थानांतरण नीति में सभी 22 जिलों के विकल्प मांगना किसी भी दृष्टि से न्यायसंगत नहीं है। शिक्षा, छात्र व शिक्षक हित में कम से कम अनिवार्य स्थानांतरण किए जाए। राज्य सचिव सतबीर गोयत व सुशीला शर्मा ने कहा कि आज सभी विद्यालयों में सक्षम की परीक्षा करवाई गई। समय रहते उपरोक्त कमियों को दूर करते हुए स्थानांतरण प्रक्रिया का सुधार करते हुए शीघ्र स्थानांतरण किया जाए। अगर ऐसा नहीं हुआ तो संघ आंदोलन को तेज करने पर मजबूर होना पड़ेगा। इस मौके पर जरनैल सिंह, ओमपाल भाल, विद्या देवी, कृष्ण कौशिक, कृष्ण आर्य, भूपेंद्र सिंह मौजूद थे।