तहसीलदार को सौंपा डिप्टी सीएम के नाम ज्ञापन
केंद्रीय ट्रेड यूनियनों और कर्मचारी संगठनों के आह्वान पर राष्ट्रव्यापी हड़ताल में विभिन्न विभागों के कर्मचारियों ने हिस्सा लिया।
संवाद सूत्र, उचाना : केंद्रीय ट्रेड यूनियनों और कर्मचारी संगठनों के आह्वान पर राष्ट्रव्यापी हड़ताल में विभिन्न विभागों के कर्मचारियों ने हिस्सा लिया। फायर ब्रिगेड के पास कर्मचारी सर्व कर्मचारी संघ के ब्लॉक प्रधान जगदीश सिंह की अध्यक्षता में एकत्रित हुए। बाजारों से होते हुए नए बस स्टैंड के रास्ते उपमंडल कार्यालय में पहुंचे। यहां पर सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी कर्मचारियों ने की। कर्मचारियों ने अपनी मांगों को लेकर तहसीलदार रामचरण शर्मा के माध्यम से डिप्टी सीएम दुष्यंत चौटाला के नाम ज्ञापन भेजा। कर्मचारियों नेताओं कहा ये आम जनमानस, कर्मचारी, किसान, मजदूर, युवा विरोधी नीतियों, विभागों के निजीकरण, पूंजीपतियों के हितों के लिए श्रम कानूनों में जो संशोधन किए जा रहे हैं। इस मौके पर कपूर सिंह, कामरेड फूल सिंह, मा. बलवान सिंह, साधुराम सहित अन्य कर्मचारी नेता मौजूद रहे।
-------------
प्रदर्शन कर जताया रोष
संवाद सूत्र, नरवाना : नरवाना में भी जन संगठनों ने राष्ट्रव्यापी हड़ताल में हिस्सा लिया। जिसकी अध्यक्षता सर्व कर्मचारी संघ ब्लॉक प्रधान कर्मबीर शर्मा, सीटू प्रधान सतबीर खरल, इंटक प्रधान सतीश सुन्दरपुरा, एटक प्रधान सतपाल सरोहा, रिटायर्ड कमचारी संघ के प्रधान मा. चांद बहादुर व एलआईसी प्रधान श्याम लाल ने की।कर्मचारियों को संबोधित करते हुए पूर्व प्रदेश अध्यक्ष बलबीर सिंह ने कहा कि हड़ताल केंद्र सरकार की कर्मचारी व जनविरोधी नीतियों के विरूद्ध, सबके लिए बेहतर स्वास्थ्य, शिक्षा, जनस्वास्थ्य, परिवहन व बिजली जैसी मूलभूत सेवाओं का बजट बढ़ाने, बेरोजगारों को पक्का रोजागार देने, सरकारी विभागों का विस्तार करने व अन्य मांगों को लेकर है। इस अवसर पर सुरेंद्र मलिक, फूल सिंह श्योकंद, जगवंती, शीशपाल गुलाडी, ईश्वर सच्चाखेड़ा, राजेंद्र शर्मा, होशियार सिंह, विनोद चहल, प्रदीप शर्मा, जगदीश भुंबक मौजूद थे।
---------------
प्राइवेट कंपनी मालिकों को मुनाफा देना चाहती मोदी सरकार
नरवाना : क्रांतिकारी युवा संगठन ने नेहरू पार्क से लेकर भगत सिंह चौक तक प्रदर्शन किया। संगठन के साथी कुलदीप ने बताया कि केंद्र सरकार जिस प्रकार की नीतियां लेकर आ रही है, उससे देश का भविष्य अंधकार में दिखाई दे रहा है। आज केंद्र सरकार मजदूर किसान विरोधी नीतियों का बनाकर पूंजीपतियों को फायदा पहुंचाना चाहती है और देश की जनता का ध्यान भटकाने के लिए धर्म के नाम पर लोगों को बांट रही है।