जींद को गायनी, मेडिसिन, हड्डी, स्किन के स्पेशलिस्ट सहित 10 डॉक्टर मिले
जागरण संवाददाता, जींद जींद जिले के लोगों के लिए अच्छी खबर है। जिला मुख्यालय स्थित नागरिक अस्प
जागरण संवाददाता, जींद
जींद जिले के लोगों के लिए अच्छी खबर है। जिला मुख्यालय स्थित नागरिक अस्पताल को दस स्पेशलिस्ट डॉक्टर मिल गए हैं। प्रदेश सरकार ने शुक्रवार को 67 डॉक्टरों की तबादला सूची जारी की। इनमें जींद को सबसे ज्यादा डॉक्टर मिले हैं।
जींद में 200 बेड के नागरिक अस्पताल में डॉक्टरों के 55 पद मंजूर हैं, लेकिन डॉक्टर मात्र 18 थे। पिछले सप्ताह ही चार डॉक्टरों का तबादला हो गया था। इसके बाद हालात ज्यादा बिगड़ गए थे कि इमरजेंसी के लिए भी डॉक्टर कम पड़ गए थे। इससे अस्पताल प्रशासन के सामने बड़ा संकट खड़ा हो गया था। अब नई तबादला सूची में ज्यादातर स्पेशलिस्ट डॉक्टर जींद भेजे गए हैं। इनमें दो गायनी की डॉक्टर, स्किन, हड्डी रोग, मनोरोग, फोरेंसिक के डॉक्टर शमिल हैं। स्किन और मनोरोग के स्पेशलिस्ट का पद भी लंबे समय से खाली पड़ा हुआ है। पिछले दिनों हड्डी रोग विशेषज्ञ डॉ. संतलाल बैनीवाल का फतेहाबाद तबादला हो गया था, लेकिन उन्हें रिलीव नहीं किया गया है। नई सूची में रोहतक सिविल अस्पताल से आर्थो के डॉ. प्रवीण कुमार को जींद भेजा गया है। गायनी की दो डॉक्टर मिलने से अब चार महिला डॉक्टर हो जाएंगी। अभी गायनोकोलोजिस्ट डॉ. निशा शर्मा के अलावा कांट्रैक्ट पर डॉ. नेहा शर्मा सेवाएं दे रही थी। गायनी की डॉक्टरों की कमी से महिलाओं की भीड़ लगी रहती थी। नागरिक अस्पताल में प्रतिदिन 15 डिलीवरी होती हैं और महीने में 50-60 सर्जरी भी होती हैं। सीएमओ डॉ. संजय दहिया ने बताया कि विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव आरआर जोवल ने चार एमबीबीएस डॉक्टर और भेजने का आश्वासन दिया है। इससे स्वास्थ्य सेवाएं और बेहतर होने की उम्मीद जगी है। --लंबे समय बाद फिजिशियन मिला
नागरिक अस्पताल में लंबे समय से फिजिशियन की कमी थी। इस कारण जुलाना में कार्यरत एसएमओ डॉ. नरेश वर्मा सप्ताह में मंगलवार व बुधवार को जींद अस्पताल में सेवाएं देते थे। दोनों दिन उनके पास मरीजों की भीड़ लगी रहती थी। बुखार, खांसी, दर्द के मरीजों को देखने के लिए फिजिशियन की सख्त जरूरत थी। अभी वायरल के सीजन में अस्पताल में मरीजों की भीड़ लगी हुई है। अब ऐसे मरीजों को काफी राहत मिलेगी। --आंखों का डॉक्टर नहीं मिला
जींद को मिले डॉक्टरों में आंखों का कोई डॉक्टर शामिल नहीं है। कुछ दिन पहले ही नेत्र सर्जन डॉ. गिन्नी लांबा और डॉ. विकास का तबादला हो गया था। इससे आंखों के मरीजों को आपरेशन कराने में परेशानी हो रही है। आई सर्जन न होने के कारण नरवाना अस्पताल से डॉ. ¨बदलिश को सप्ताह में दो दिन जींद बुलाना पड़ता है। सीएमओ ने एसीएस से नेत्र सर्जन भेजने का भी आग्रह किया है।
नोट.. नीचे वाले महत्वूपर्ण बॉक्स को अपनी खबर की ईपीएस के साथ लगाएं
--मंत्री व एससीएस तक पहुंची खबर की क¨टग तो टूटी नींद
दैनिक जागरण ने 13 सितंबर के अंक में ही खबर प्रकाशित की थी कि डॉक्टरों की कमी के कारण 200 बेड का अस्पताल प्राथमिक उपचार तक सिमट गया है। इस खबर की क¨टग स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों के व्हाट्सएप ग्रुप पर घूम गई, जिसमें स्वास्थ्य मंत्री सहित अतिरिक्त मुख्य सचिव भी जुड़े हुए हैं। इसके बाद वीरवार दोपहर खुद एसीएस आरआर जोवल ने सीएमओ डॉ. संजय दहिया से बातचीत की। सीएमओ ने एसीएस को जींद के हालात के बारे में बताया और स्पेशलिस्ट डॉक्टर भेजने का आग्रह किया। एसीएस ने इसे गंभीरता से लेते हुए शुक्रवार को दस स्पेशलिस्ट डॉक्टरों का ट्रांसफर कर दिया।
--इन डॉक्टरों का जींद तबादला
नाम --विशेषज्ञ --कहां से आए
डॉ. आशीष राणा -एनस्थीसिया -हिसार
डॉ. मीना मलिक -गायनी -हिसार
डॉ. शशिलता -गायनी -पानीपत
डॉ. विनीत -मेडिसिन -झज्जर
डॉ. प्रवीण कुमार -ऑरथो -रोहतक
डॉ. ईश कुमार -स्किन -झज्जर
डॉ. अनुज जांगड़ा -कम्यूनिटी मेडिसिन -हिसार
डॉ. अंबुज जैन -फोरेंसिक मेडिसिन -सोनीपत
डॉ. स्मृति धामी -पब्लिक हेल्थ -फरीदाबाद
डॉ. सुरेश कुमार -मनोरोग -हिसार --सीएमओ बोले: डीसी का विशेष योगदान
सीएमओ डॉ. संजय दहिया ने कहा कि पिछले दिनों कई डॉक्टरों के तबादले के बाद वह खुद उच्च अधिकारियों के संपर्क में थे। इसके अलावा उन्होंने उपायुक्त अमित खत्री से बात की थी। डीसी ने अपने स्तर पर स्वास्थ्य विभाग के उच्च अधिकारियों से बात की। उसी का असर रहा कि जींद को दस डॉक्टर मिलने में सफलता हासिल हुई।