गांधी परिवार को नहीं है जौ-गेहूं का ज्ञान : राधामोहन सिंह
केंद्रीय कृषि मंत्री राधामोहन सिंह ने झज्जर में कांग्रेस पर जमकर तंज कसा। कहा कि गांधी परिवार एेसा परिवार है जिसे जौ-गेहूं का ज्ञान ही नहीं है।
जेएनएन, झज्जर। दिल्ली में जहां राहुल गांधी की कांग्रेस अध्यक्ष पद पर ताजपोशी की तैयारी चल रही है, वहीं भाजपा गांधी परिवार पर तीखे वार करने का कोई अवसर नहीं छोड़ रही है। मंगलवार को झज्जर में विश्व मृदा दिवस के उपलक्ष्य में आयोजित राज्य स्तरीय सम्मेलन में केंद्रीय कृषि मंत्री राधामोहन सिंह ने गांधी परिवार के खेती-किसानी से जुड़े ज्ञान पर जमकर कटाक्ष किए। सीधे किसी का नाम लिए बिना कहा-मोदी के सत्ता में आने से पहले 'एक परिवार' का शासन चलता रहा था। यह ऐसा 'परिवार' है जिसे जौ-गेहूं का ज्ञान ही नहीं है।
राधामोहन ने अपने खास अंदाज में सोनिया गांधी, राहुल गांधी व पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह पर तीखे शब्दबाण चलाए। सोनिया गांधी व राहुल का नाम लिए बिना कहा कि तब के जो प्रधानमंत्री थे, उनकी चलती ही नहीं थी। तब पीएम सरकार नहीं चलाते थे, बल्कि 'पुर्जी' से शासन चलता था।
कृषि मंत्री ने आज झज्जर में किसानों का जीवनस्तर उन्नत करने से जुड़ा दैनिक जागरण का ‘आधुनिक अन्नदाता’ महा अभियान का शुभारंभ भी किया। इस मौके पर हरियाणा के कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री ओपी धनखड़ भी मौजूद थे। इस दौरान राधामोहन सिंह ने हर किसान से सॉयल हेल्थ कार्ड बनाने को कहा। उन्होंने कहा कि धरती हमारी मां है, इसका स्वास्थ्य का हमे ख्याल रखना होगा। किसान खाद का प्रयोग कम करें और आर्गेनिक खेती पर ध्यान दें।
केंद्रीय कृषि मंत्री ने हरियाणा के कृषि मंत्री की पैरी अर्बन योजना के लिए तारीफ की। कहा कि दिल्ली की जरुरतों के लिए हरियाणा के किसान की मेहनत लाजवाब है। हरियाणा के कृषि मंत्री ओपी धनखड़ ने कहा कि केवल भारत भूमि ऐसी भूमि है जहां के लोग अपनी धरती को मां स्वरूपा मानते हैं। हम सबकी जिम्मेदारी है कि अपनी मां को स्वस्थ रखें।
दैनिक जागरण का अभियान ग्लोबल एकेडमी ऑफ पब्लिक सेफ्टी एंड हैबीटेट मैनेजमेंट सहित विभिन्न सामाजिक संस्थाओं की मदद से किसानों में जागरूकता पैदा करने की बड़ी पहल है। बता दें कि अभी यह अभियान उत्तर प्रदेश के 12 जिलों में चल रहा है।
आधुनिक अन्नदाता महा अभियान की शुरुआत करते राधामोहन सिंह व ओपी धनखड़।
हरियाणा के कृषि मंत्री ओमप्रकाश धनखड़ का कहना है कि मृदा परीक्षण बेहद जरूरी है। मिट्टी की जांच से हमें यह पता चल सकता है कि हमारी जमीन में किन-किन पोषक तत्वों की कमी है। यह भी पता लगाया जा सकता है कि इस मिट्टी में किस तरह की फसल बोनी चाहिए। दैनिक जागरण के अभियान के तहत वरिष्ठ विशेषज्ञ किसानों को सॉयल टेस्टिंग के लाभ, यूरिया व डीएपी रेशो, जैविक खाद, केंचुआ खाद, नेचुरल फार्मिंग, गोपालन आदि से खेती को लाभकारी बनाने के गुर समझाएंगे।
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