अगले तीन दिन तक तापमान में हल्की बढ़ोतरी
चौधरी चरण सिंह हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय के कृषि मौसम विज्ञान विभाग के अध्यक्ष डा. मदन खिचड़ ने बताया कि मानसून की टर्फ रेखा हिमालय की तलहटियों की तरफ बढ़ने की संभावना को देखते हुए राज्य में इसकी सक्रियता अगले चार-पांच दिनों में थोड़ी कम हो सकती है। जिससे 13 सितंबर तक मौसम आमतौर पर परिवर्तनशील रहने व बीच-बीच में आंशिक बादल छाए रहने तथा दिन के तापमान में हल्की बढ़ोतरी होने की संभावना है।
जागरण संवाददाता, हिसार : अभी तक बादलवाई और बारिश से मौसम में नरमी दिखाई दे रही थी, मगर लोगों को फिर से गर्मी का अहसास हो रहा है। वीरवार को दिन का तापमान सामान्य से एक डिग्री बढ़कर 37 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया। वहीं न्यूनतम तापमान 24.6 डिग्री सेल्सियस पर बना हुआ है। पिछले कुछ दिनों से अधिकतम तापमान 32 से 35 डिग्री सेल्सियस के बीच चल रहा था। आने वाले तीन से चार दिनों में मौसम विभाग ने तापमान बढ़ने की संभावना जताई है। ऐसे में लोग स्वास्थ्य का विशेष ध्यान रखें।
चौधरी चरण सिंह हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय के कृषि मौसम विज्ञान विभाग के अध्यक्ष डा. मदन खिचड़ ने बताया कि मानसून की टर्फ रेखा हिमालय की तलहटियों की तरफ बढ़ने की संभावना को देखते हुए राज्य में इसकी सक्रियता अगले चार-पांच दिनों में थोड़ी कम हो सकती है। जिससे 13 सितंबर तक मौसम आमतौर पर परिवर्तनशील रहने व बीच-बीच में आंशिक बादल छाए रहने तथा दिन के तापमान में हल्की बढ़ोतरी होने की संभावना है। इस दौरान राज्य में कुछ-एक स्थानों पर गरज चमक के साथ बूंदाबांदी संभावित है। आमतौर पर दक्षिण पश्चिम मानसून 14 सितंबर तक चला जाता है। इस बार इसके माह के आखिरी तक वापस जाने की संभावना है।
प्रदेश में 37.1 मिलीमीटर ही हुई है बारिश
राज्य में मानसून पीरियड (1 जून से 10 सितंबर) में सामान्य से 7 फीसद कम बारिश दर्ज हुई है। मौसम विभाग की मानें तो इस दौरान राज्य में सामान्य बारिश 403.1 मिलीमीटर की जगह 373.1 मिलीमीटर बारिश दर्ज हुई है। मानसून की असमान बारिश होने के कारण राज्य के बारह जिलों में सामान्य से भी कम बारिश दर्ज हुई।
मौसम परिवर्तन देखते हुए किसान इन बातों का रखें ध्यान - पिछले पांच दिनों से राज्य में बारिश होने, बादलवाई व वातावरण में नमी अधिक होने से कीट व रोगों का प्रकोप बढ़ने की संभावना को देखते हुए फसलो पर लगातार निगरानी रखें। यदि फसलों में कीट व रोग का प्रकोप दिखाई दे तो मौसम साफ होने पर विश्वविद्यालय द्वारा सिफारिश दवाइयों का ही स्प्रे करें।
- नरमा कपास व अन्य खरीफ फसलों तथा सब्जियों में यदि बारिश का पानी भरा हो तो उसे निकाल दें।
- तापमान में हल्की बढ़ोतरी होने की संभावना को देखते हुए धान की फसल में आवश्यकतानुसार सिचाई करें।
- फलदार पौधे लगाने का उचित समय है। प्रमाणित नर्सरी से उत्तम किस्मों के फलदार पौधे लेकर खेतों में अवश्य लगाएं।