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शराब पीने से रोका तो, बेटे ने साथियों संग मिल कर दी पिता की हत्‍या

शव का पोस्टमार्टम करवाए जाने के बाद उसे परिजनों को सौंप दिया गया। विभिन्न टीमें आरोपितों की धरपकड़ में जुटी है। इधर घटनाक्रम गांव में चर्चा का विषय बना हुआ है।

By manoj kumarEdited By: Published: Fri, 29 Mar 2019 07:25 PM (IST)Updated: Fri, 29 Mar 2019 07:25 PM (IST)
शराब पीने से रोका तो, बेटे ने साथियों संग मिल कर दी पिता की हत्‍या

बेरी, झज्‍जर, जेएनएन। जिस बेटे को पिता बुराई से बचाना चाहता था, वही बेटा पिता की जान का दुश्‍मन बन गया। क्षेत्र के अंतर्गत आने वाले मदाना गांव में एक पुत्र ने अपने दो अन्य साथियों के साथ मिलकर पिता की निर्ममता पूर्वक हत्या की है। बृहस्पतिवार की रात अंजाम दिए गए घटनाक्रम के बाद आरोपित अपने साथियों के साथ मौके से फरार हो गया। हालांकि, अभी तक जितनी भी जानकारी सामने आई है, वह मृतक के छोटे पुत्र सुनील (मानसिक रूप से कमजोर) ने पुलिस को दी है। करीब 12 घंटे बाद सामने आए हत्या के मामले में उपलब्ध जानकारी को ही आधार मानते हुए नियमानुसार जांच अमल में लाई जा रही है।

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शुक्रवार बाद दोपहर शव का पोस्टमार्टम करवाए जाने के बाद उसे परिजनों को सौंप दिया गया। विभिन्न टीमें आरोपितों की धरपकड़ में जुटी है। इधर, घटनाक्रम गांव में चर्चा का विषय बना हुआ है। प्रारंभिक रूप से सामने आया है कि आरोपित पुत्र अनिल, जो कि शराब पीने का आदि था, को पिता द्वारा अक्सर की जाने वाली रोक-टोक नागवार गुजरती थी। जिसके परिणाम स्वरूप ही वारदात को अंजाम तक पहुंचाया गया।

घर की छत पर दिया वारदात को अंजाम

बताते हैं कि मृतक ओमप्रकाश की पत्नी करीब दस दिन पूर्व अपने मायके गई थी। जिसके कारण छोटा पुत्र सुनील (आयु करीब 35 वर्ष) अपने पिता के पास ही सोता था। शुक्रवार की रात जब पिता खेतों से घर पहुंचा तो उसने सुनील से बड़े बेटे अनिल के बारे में पूछा। यहां उसे बताया गया कि अनिल अपने साथियों के साथ छत पर शराब आदि पी रहा है। गुस्साया ओमप्रकाश स्वयं पर काबू नहीं रख पाया और वह छत पर पहुंच गया। जहां पिता-पुत्र के बीच कहासुनी इस हद तक जा बढ़ी कि अनिल ने अपने दोनों साथियों के साथ मिलकर हत्या कर दी।

आरोप है कि रात के समय में हुए इस संघर्ष के दौरान उसकी पिटाई भी की गई। जिसके बाद गला दबाकर हत्या की गई। आरोपित छत से शव को नीचे लेकर आए और बिस्तर पर लिटाने के बाद फरार हो गए। इधर, सुनील अपनी कम समझ के साथ यह निर्णय ही नहीं कर पाया कि पिता के साथ क्या हुआ है। दिन निकलने के काफी समय बाद भी जब ओमप्रकाश के शरीर में कोई गतिविधि नहीं हुई तो वह अपने ताऊ बलजीत के घर गया।

पुलिस के समक्ष मामले का हुआ पटाक्षेप

कम समझ होने के कारण सुनील बेशक ही निर्णय लेने में कमजोर है। लेकिन वह एक बच्चे की तरह जो भी देखा गया को बता सकने में समर्थ है। ताऊ बलजीत की सूचना पर मौका-ए-वारदात पर पहुंची पुलिस की टीम ने जब पूछताछ शुरू की तो सामने आया कि घटनाक्रम को किस तरह से अंजाम दिया गया है। ईशारों के अलावा सुनील ने तुतलाती भाषा में पूरी बात पुलिस को बताई है। मौके से तथ्य जुटाए जाने के बाद शव को पोस्टमार्टम के लिए सिविल अस्पताल में लाया गया। गांव में हत्याकांड की कड़े शब्दों में ङ्क्षनदा की जा रही है। लोग एक ओर जहां शराब को कोस रहे थे, वहीं बदल रहे हालात के कारण खराब होते हुए रिश्तों को लेकर भी चिंतित दिखाई दिए।

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मृतक के शव का पोस्टमार्टम करवाए जाने के बाद परिजनों को सौंप दिया गया है। छोटे पुत्र द्वारा दी गई जानकारी के आधार पर कुछ अह्म जानकारी सामने आई है। आरोपित पुत्र अपने साथियों के साथ फरार है। जिसकी धरपकड़ के लिए पुलिस की विभिन्न टीमें जांच में जुटी हुई है।

निरीक्षक सुखबीर सिंह, दुजाना थाना प्रभारी।


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