Lockdown का मौसम पर भी प्रभाव, 20 साल में सबसे ठंडा रहा अप्रैल का पहला सप्ताह, छाए रहेंगे बादल
इस बार लॉकडाउन के बाद अप्रैल के दिनों के तापमान में बड़ा अंतर देखने को मिल रहा है। पिछले 20 वर्षों की तुलना में इस बार तापमान कम है।
हिसार [वैभव शर्मा]। मार्च के बाद अप्रैल के शुरुआती दिनों में ही अक्सर तापमान 30 से 37 डिग्री सेल्सियस तक चला जाता था। यह प्रक्रिया लगभग पिछले 20 वर्षों से एक जैसी ही चल रही थी। इस बार लॉकडाउन के बाद अप्रैल के दिनों के तापमान में बड़ा अंतर देखने को मिल रहा है।
लॉकडाउन के 12 दिनों में तापमान में पिछले वर्षों के रिकार्ड की तुलना करें तो पांच डिग्री सेल्सियस से भी गिरावट दर्ज की जा रही है। जिसमें छह दिन अप्रैल माह के भी शामिल हैं। दिन के तापमान में इस गिरावट का एक बड़ा कारण मौसम विज्ञानी कम प्रदूषण मान रहे हैं। यह स्थिति मार्च के आखिरी सप्ताह और अप्रैल के अभी तक के दिनों को लेकर आंकलन किया जा रहा है। यही कारण है अभी तक लोग घरों में एसी का प्रयोग करना शुरू कर देते थे, मगर मौजूदा समय में अप्रैल के शुरुआती दिन अधिक गर्मी वाले नहीं रहे हैं। प्रदूषण कम होने के कारण आजकल आसमान पूरी तरह साफ नीला दिख रहा है। दूर-दूर तक पहाड़ी इलाके भी दिख रहे हैं।
छाए रहेंगे बादल, फिर बारिश की संभावना
इसके साथ ही आने वाले दिनों में फिर से बादल छाए रहने की संभावना जताई जा रही है, ऐसे में अभी चल रहे तापमान में और भी गिरावट दर्ज की जा सकती है। 8 अप्रैल को मध्यम गति से हवाएं चलने, गरज चमक होने तथा कहीं-कहीं हल्की बारिश भी संभावित है।
मौसम विज्ञानी डॉ. मदन खिचड़ बताते हैं कि प्रदूषण कम होने का असर पर्यावरण के साथ मौसम पर भी पड़ता दिखाई दे रहा है। यह रिसर्च का विषय है कि जब प्रदूषण कम है तो मौसम में क्या क्या बदलाव देखे गए। अभी तक कम गर्मी, बादलों का आना व आसमान साफ होने जैसे बदलाव दिखाई दे रहे हैं।
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