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1500 करोड़ का जीएसटी फर्जीवाड़ा मामले में नया मोड़, आईजी की एसआईटी पर बड़ा आरोप

केस से बाहर निकालने को आइजी की एसआइटी पर पांच लाख रिश्वत मांगने के आरोप लगे हैं। इसकी शिकायत मंत्री विज को दी गई। 1500 करोड़ का जीएसटी फर्जीवाड़ा वाला मामला है। हिसार निवासी सत्यम को थाने में बुलाकर पहले बुरी तरह पीटा फिर की पैसों की डिमांड की।

By Anurag ShuklaEdited By: Published: Thu, 08 Oct 2020 09:38 AM (IST)Updated: Thu, 08 Oct 2020 09:38 AM (IST)
आईजी की एसआईटी पर रिश्‍वत मांगने का आरोप लगा है।

हिसार, जेएनएन। 1500 करोड़ के जीएसटी घोटाले में जांच कर रही आइजी की एसआइटी पर केस में जांच के लिए बुलाने और उनको डरा-धमकाकर रिश्वत मांगने के आरोप लगे हैं। एसआइटी के इंचार्ज एएसआइ प्रह्लाद राय हैं। यह वही एसआइटी है जिसने कुछ महीने पहले हिसार में चंदन तस्करी मामले की जांच की थी। यह केस प्रशिक्षु आइपीएस से लेकर एक एएसआइ को दे दिया गया था। अब इसी एसआइटी को 1500 करोड़ रुपये के जीएसटी घोटाले की जांच भी सौंप दी गई थी। इस एसआइटी का गठन हिसार रेंज के आइजी संजय कुमार द्वारा किया गया है।

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शिकायतकर्ता हिसार के ऋषि नगर निवासी सत्यम ने एसआइटी पर जांच के लिए थाने बुलाने और मारपीट कर पांच लाख रुपये रिश्वत मांगने के आरोप लगाए हैं। शिकायतकर्ता ने बड़ी चालाकी से सारी बातों की रिकॉर्डिंग कर ली और वीडियो भी बना ली। उसने गृह मंत्री अनिल विज को शिकायत देकर इस मामले में कार्रवाई की मांग की है। इसके साथ ही मुख्यमंत्री, चीफ सेक्रेटरी हरियाणा, सीबीआइ, स्टेट विजिलेंस, हिसार जिला विजिलेंस और एसपी को ई-मेल के जरिये शिकायत दी गई है।

जांच के लिए बुलाया और थाने में की डंडों से पिटाई

सत्यम ने शिकायत में बताया कि वह मोबाइल फोन होल सेल का बिजनेस करता है। उन्होंने करीब छह करोड़ के गिफ्ट कार्ड स्वाइप किए थे। इसी मामले में कालांवाली में दर्ज एफआइआर के संबंध में जांच के लिए 21 सितंबर को एएसआइ प्रहलाद राय की तरफ से पूछताछ के लिए वाट््सएप पर नोटिस प्राप्त हुआ। वह 27 सितंबर को 11 बजे सिरसा सदर थाने में पेश हो गया। उस समय वहां प्रहलाद राय के अलावा तीन अन्य लोग भी थे। वहां प्रहलाद राय ने उससे कारोबार के दस्तावेज मांगे तो उसने पैन ड्राइव दे दी। इस पर एएसआइ तैश में आ गया और उसे गालियां निकालते हुए थप्पड़, मुक्के व डंडों से पीटा। प्रहलाद राय ने किसी अन्य व्यक्ति से फोन पर बात करते हुए पूछा कि उसने एक बंदे को पीट दिया है। हो सकता है वह उसकी शिकायत कर दे, इसलिए बचाव के लिए मैं उस पर केस दर्ज कर देता हूं ताकि वह कहीं पर शिकायत करे तो अपने पास बचाव का प्रबंध हो। यह सारी बातचीत सत्यम के मोबाइल में रिकार्ड है।

रिकॉर्डिंग में पैसे ऊपर तक बड़े अधिकारी के पास जाने का जिक्र

सत्यम के पास जो रिकॉर्डिंग है उसमें एएसआइ प्रहलाद के पास एक व्यक्ति और बैठा है। उसने खुद का नाम राजेश सहारण और एक पार्टी का नेता बताया और उससे कहा कि वह उसका मामला पांच लाख में निपटवा देगा। पहले भी उसने मामले निपटवाए हैं। राजेश सहारण ने उससे ये भी कहा कि ये पैसे पुलिस के एक बड़े अफसर को भेजे जाते हैं। अगर उसने पैसे नहीं दिए तो उस पर फर्जी केस दर्ज हो जाएगा और सात साल की सजा होगी। सत्यम इतने पैसे नहीं होने की बात कहते हुए उसे बताता है कि उसके पास सिर्फ 40 हजार रुपये हैं। इसके बाद सहारण ने कहा कि 40 हजार से क्या होता है, पांच लाख में केस निपटवा दूंगा। इसके बाद तीन लाख में सौदा तय हो जाता है। सत्यम चार-पांच दिन में पैसों का इंतजाम करने की बात कहता है। इस संबंध में एसआइटी के अधिकारियों से उनके फोन बात करने का प्रयास किया गया लेकिन उन्होंने फोन नहीं उठाया।


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