किसानों ने कहा, पुलिस ने रोहतक जाने के लिए घरों में जबरदस्ती रोका
चरखी दादरी नेशनल हाइवे 152 डी के लिए अधिग्रहण होने वाली जमीन की मुआ
जागरण संवाददाता, चरखी दादरी :
नेशनल हाइवे 152 डी के लिए अधिग्रहण होने वाली जमीन की मुआवजा राशि में वृद्धि की की मांग को लेकर गांव रामनगर के समीप धरना दे रहे किसानों ने मामले को निपटाने के लिए रविवार को रोहतक में प्रधानमंत्री से मिलने का निर्णय लिया था। लेकिन किसान पीएम से मिलने रोहतक नहीं जा पाए। किसानों का आरोप है कि धरना कमेटी सदस्यों को पुलिस ने उनके घरों में ही जबरदस्ती रोक दिया गया। जिसके कारण वे घर से बाहर भी नहीं निकल पाए। वहीं दूसरी ओर पुलिस ने किसानों को जबरदस्ती रोके जाने के आरोपों को बेबुनियाद बताया है। उल्लेखनीय है कि गंगहेड़ी से नारनौल जाने वाले नेशनल हाइवे 152 डी के लिए दादरी जिले के 17 गांवों की करीब 660 एकड़ जमीन का अधिग्रहण होना है। जमीन अधिग्रहण के बदले मिलने वाली मुआवजा राशि से किसान संतुष्ट नहीं हैं और वे बीते साढ़े छह माह से धरना दे रहे हैं। इस दौरान किसान भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह, सीएम मनोहर लाल के आगमन पर विरोध प्रदर्शन की चेतावनी दी थी। एक बार सीएम के आगमन पर किसान सीएम के खिलाफ रोष प्रकट करने के लिए गांव रामनगर तक पहुंच भी गए थे लेकिन पुलिस ने उन्हें वहां रोक दिया था। लंबे समय से उनकी मांगें पूरी न होने के कारण धरना कमेटी ने 8 सितंबर को रोहतक में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मिलने का निर्णय लिया था। इस संबंध में उन्होंने जिला प्रशासन को भी पत्र सौंपकर पीएम से मिलवाने की अपील की थी। शनिवार शाम को किसानों ने जिला प्रशासन द्वारा अनुमति न दिए जाने के बाद भी रोहतक पहुंचकर पीएम से मिलने की घोषणा की थी। धरने की अध्यक्षता कर रहे अनूप सिंह व संचालक विनोद मौड़ी ने कहा कि पुलिस द्वारा धरना कमेटी को रोहतक जाने से जबरदस्ती रोक दिया गया। उन्होंने कहा कि छह माह के दौरान आंदोलन में अधिक सक्रिय रहने वाले व धरना कमेटी के सदस्यों अनूप सिंह खातीवास, विनोद मौड़ी, महावीर झिझर, रामौतार रानीला, रामनिवास इत्यादि के घर पर पुलिस ने सुबह ही डेरा डाल दिया था। उन्होंने कहा कि प्रत्येक धरना कमेटी सदस्य के घर के बाहर सुबह 9 बजे से दोपहर बाद करीब दो बजे तक तीन से चार पुलिसकर्मी तैनात रहे और उन्हें रोहतक नहीं जाने से रोक दिया गया।
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सेल्फी की जारी
किसान आंदोलन के दौरान रामनगर में धरनारत किसानों की अगुवाई करने वाले विनोद मौड़ी ने कहा कि करीब 6 घंटे तक पुलिस उनके घरों के बाहर तैनात रही है। उन्होंने कहा कि उनके घर के बाहर दादरी पुलिस थाना प्रभारी व झोझू थाना प्रभारी उनके घर के बाहर तैनात रहे। उन्होंने इस संबंध उनके घर के बाहर बैठे दोनों थाना प्रभारियों के साथ सेल्फी जारी की है।
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पुलिस ने रोके जाने से किया इंकार
दादरी सदर पुलिस थाना प्रभारी नरेंद्र सिंह ने कहा कि पुलिस न ही धरना कमेटी सदस्यों के घर गई और न ही पुलिस ने किसानों को रोहतक जाने से रोका है। उन्होंने कहा कि किसान सुबह 11 बजे से गांव रामनगर के समीप धरना दे रहे थे। पुलिस ने केवल धरना स्थल पहुंचकर स्थिति का जायजा लिया था।