बीएसएनएल में सोलर सिस्टम से हर साल 45 हजार यूनिट बिजली का उत्पादन, 12 टन कार्बन उत्सर्जन रुकेगा
बीएसएनएल में सोलर सिस्टम से हर साल 45 हजार यूनिट बिजली का उत्पादन 12 टन कार्बन उत्सर्जन रुकेगा
जागरण संवाददाता, बहादुरगढ़ : शहर में बीएसएनएल भवन में अब बिजली बचत के साथ ही पर्यावरण की भी सुरक्षा होगी। यहां पर लगाया गया सोलर पैनल सिस्टम शुक्रवार से विधिवत रूप से आपरेटिग में आ गया। 30 किलोवाट क्षमता के इस सिस्टम से एक वर्ष के अंदर 45 हजार यूनिट बिजली का उत्पादन होगा। इससे बीएसएनएल का अकेले बहादुरगढ़ में सालाना 1.36 लाख और पूरे प्रदेश में लगभग 50 लाख का बिजली खर्च घटेगा। साथ ही भारी मात्रा में कार्बन उत्सर्जन भी रुकेगा।
प्रदेश के अंदर बीएसएनएल के भवनों पर यह 11वां सोलर संयंत्र लगाया गया है। इससे पूरे प्रदेश के अंदर इस सिस्टम की क्षमता 360 किलोवाट तक पहुंच गई है। बीएसएनएल के हरियाणा सर्कल सर्कल के मुख्य महाप्रबंधक उमाशंकर पांडे ने शुक्रवार को विधिवत रूप से इस सोलर पैनल सिस्टम का उद्घाटन किया। बाद में उन्होंने एक्सचेंज के स्विच रूम का निरीक्षण किया और परिसर में पौधा भी लगाया। टेलीकॉम सिस्टम को दुरुस्त रखने के लिए उन्होंने स्थानीय अधिकारियों को आवश्यक निर्देश भी दिए। कार्बन उत्सर्जन पर लगेगी रोक :
बीएसएनएल में सोलर सिस्टम चालू होने से कई फायदे होंगे। एक तो बिजली की बचत होगी। दूसरा बीएसएनल को फायदा होगा। फिलहाल बीएसएनल को बिजली 9 रुपये प्रति यूनिट के खर्च पर उपलब्ध होती है। मगर सोलर सिस्टम लगने से यह चार रुपये से भी कम मिलेगी। इससे साल भर में अच्छी खासी बचत होगी। दूसरा इससे पर्यावरण को फायदा होगा। बीएसएनएल अंबाला के इलेक्ट्रिकल्स अभियंता शेखर गुप्ता ने बताया कि इस सोलर सिस्टम से हर साल 45 हजार यूनिट बिजली का उत्पादन होगा और 12 टन कार्बन के उत्सर्जन में कमी आएगी। इससे पहले हरियाणा में 10 जगहों पर बीएसएनएल भवनों की छत पर इस तरह के संयंत्र लगाए जा चुके हैं। इस दौरान रोहतक मंडल के महाप्रबधंक सुरेश कुमार, डीजीएम सुभाष चंद्र, स्थानीय डीईटी दुष्यंत कुमार, एसडीई ओपी गर्ग व अन्य अधिकारी भी उपस्थित रहे।
------------------------------------