Farmers Protest: हिंसा की तो पहले चलेंगे आंसू गैस के गोले फिर रबड़ की गोलियां, उपद्रवियों को काबू करने के लिए बनाई योजना
Farmers Protest किसान आंदोलन के चलते हरियाणा पुलिस प्रशासन पूरी तरह से एक्टिव हो गया है। इस बार पुलिस ने साफ साफ कह दिया है कि वह किसी भी प्रकार की एहतियात नहीं बरतने वाली। पुलिस प्रशासन ने कहा है कि किसी भी उपद्रवि के द्वारा कोई हरकत की गई तो सबसे पहले उनपर आंसू गैस के गोले छोड़ेंगे उसके बाद रबड़ की गोलियां।
जागरण संवाददाता, अंबाला। किसान आंदोलन-2 के चलते यदि किसी ने भी हिंसा करने का प्रयास किया या भीड़ को भड़काने या उकसाने का काम किया तो प्रशासन किसी भी तरह की कानूनी कार्रवाई करने में कोताही नहीं बरतेगा। जरूरत पड़ी तो रबड़ की गोलियां चली जाएगी। पुलिस-प्रशासन ने इसके लिए बाकायदा रिहर्सल तक कर ली है। अंबाला में ही चार कंपनियों को करीब 25 दिन विशेष प्रशिक्षण इसके लिए दिया गया है।
उपद्रवियों को रोकने के लिए पुलिस प्रशासन ने पहले तो आठ लेयर का सुरक्षा कवच तैयार किया है। जिसे भेद पाना इतना आसान नहीं होगा। इस दौरान यदि भीड़ इसे भेदना का प्रयास करेगी तो सबसे पहले पुलिस और अन्य सुरक्षा बल आंसू गैस के गोलों का प्रयोग करेगी। इसके बाद भी यदि बात नहीं मानी तो उपद्रवियों को रोकने के लिए पुलिस रबड़ की गोलियों से फायरिंग करेगी। यह तमाम प्रयास भी सफल नहीं होते तो वाटर कैनन का प्रयोग और लाठीचार्ज तक जरूरत पड़ने पर किया जा सकता है। हालांकि पुलिस ने इस तरह के बंदोबस्त किए हैं कि उपद्रवियों को यहां तक पहुंचने ही नहीं दिया जाएगा। इसीलिए अस्थाई जेलों तक की व्यवस्था जिला प्रशासन ने कर ली है।
मल्टी सेल गन, वाटर कैन, व्रजा, दमकल विभाग की गाड़ियां भी तैनात
शंभू बॉर्डर सहित तमाम सीमाओं पर सुरक्षा के पुख्ता बंदोबस्त किए गए हैं। सरिये की निर्मित कीलों की लेयर हो या फिर भारत-पाकिस्तान सीमा पर लगने वाली कंटीली तारें या कंक्रीट की दीवारें जो भी बेहतर सुरक्षा बंदोबस्त हो सकते थे पुलिस और प्रशासन ने तमाम व्यवस्था कर दी है। इनके अलावा मल्टी सेल गन भी दी गई हैं। इनका प्रयोग विभिन्न स्थितियों में स्थिति के अनुसार किया जा सकता है। इसके अलावा आंसू गैस से बचाव के लिए कर्मियों को चश्मे, हेलमेट, सुरक्षा गार्ड भी उपलब्ध करवाया गया है।साथ ही साथ पुलिस व कंपनियां असले से भी लैस हैं। दमकल विभाग की करीब 15 गाड़ियां शंभू बॉर्डर पर तैनात कर दी गई है। रोडवेज की बसों के अलावा पुलिस की बसें भी शंभू बॉर्डर पर 24 घंटे उपलब्ध करवाई गई हैं। जरूरत के अनुसार इनका प्रयोग किया जाएगा।
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