गुजरात में वणिकर भवन के लिए तोगड़िया और विहिप में जंग, आरएसएस भी मैदान में उतरा
Pravin Togadia. गुजरात में विश्व हिंदू परिषद का मुख्यालय वणिकर भवन अब डॉ प्रवीण तोगड़िया व आरएसएस-विहिप की जंग का अखाड़ा बनता जा रहा है।
अहमदाबाद, शत्रुघ्न शर्मा। गुजरात में विश्व हिंदू परिषद (विहिप) का मुख्यालय वणिकर भवन कभी हिंदू राजनीति की धुरी होता था, लेकिन अब यह इसके पूर्व अध्यक्ष डॉ प्रवीण तोगड़िया व आरएसएस-विहिप की जंग का अखाड़ा बनता जा रहा है। तोगड़िया दिल्ली में अपनी पार्टी की घोषणा करते उससे ठीक पहले विहिप नेताओं ने पुलिस की मदद से वणिकर भवन पर कब्जा जमा लिया।
विहिप के पूर्व अंतरराष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष डॉ प्रवीण तोगड़िया ने अपने ही बनाए संगठन से निकाले जाने के बाद अंतरराष्ट्रीय हिंदू परिषद नामक संगठन का निर्माण कर लिया था। गाहे-बगाहे शनिवार को उन्होंने हिंदुस्तान निर्माण दल नाम से राजनीतिक पार्टी की घोषणा की, लेकिन उससे पहले अहमदाबाद में वणिकर ट्रस्ट के भवन से हाथ धोना पड़ गया। डॉ तोगड़िया ने अपने वीडियो संदेश में कहा कि वे वणिकर ट्रस्ट के मुख्य ट्रस्टी हैं तथा अदालत के आदेश से ही वणिकर भवन का कब्जा उनके पास है, लेकिन राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ व विश्वहिंदू परिषद के कुछ नेता व कार्यकर्ताओं ने पुलिस की मदद से वणिकर भवन पर कब्जा जमा लिया।
पुलिस ने वहां लूट पाट की है, यह अदालत की भी अवमानना है। कोर्ट कमिशन के आदेश पर ही वणिकर भवन हमारे अधिकार में है, लेकिन दिल्ली की सत्ता के इशारे पर पुलिस ऐसा काम कर रही है। पुलिस अदालत के आदेश का पालन करते हुए भवन से कब्जा हटा ले।
कांग्रेस प्रवक्ता मनीष दोशी ने भी डॉ तोगडिया का समर्थन करते हुए कहा कि सत्ता के नशे में तोगडिया को बेदखल किया जा रहा है।
भाजपा अध्यक्ष जीतू वाघाणी ने कहा कि तोगड़िया को भवन चाहिए तो वे अपने दम पर बनाकर दिखाए। यह ट्रस्ट की संपत्ति है। तोगडिया की व्यक्तिगत संपत्ति नहीं है इसलिए आरएसएस व विहिप को यह भवन अपने पास रखने का नैतिक अधिकार है।
उधर, आरएसएस के पूर्व प्रांत प्रचारक अम्रत कडीवाला जो खुद वहां मौजूद थे, ने कहा कि वणिकर भवन ट्रस्ट की संपत्ति है, यहां से कोई राजनीतिक गतिविधियां संचालित नहीं की जा सकती। तोगडिया ने अपना राजनीतिक दल बना कर राजनीतिक गतिविधियां शुरू कर दी हैं, इसलिए अब उन्हें वणिकर भवन पर अपना दावा छोड़ देना चाहिए।