कैग ने उठाए गुजरात सरकार के कामकाज पर सवाल
कैग की रिपोर्ट में राज्य की आनंदी बेन सरकार के कामकाज पर सवाल उठे हैं।
शत्रुघ्न शर्मा, अहमदाबाद। गुजरात विधानसभा में पेश नियंत्रक एवं महालेखा परीक्षक (कैग) की रिपोर्ट में राज्य की आनंदी बेन सरकार के कामकाज पर सवाल उठे हैं। पुलिस के पास जहां सुरक्षा उपकरण नहीं हैं, वहीं गांवों में स्वास्थ्य सेवाएं बदहाल हैं। जबकि, केजी बेसिन में तेल एवं गैस खोजने पर सरकार 20 हजार करोड़ फूंक चुकी है।
रिपोर्ट के मुताबिक, गुजरात पुलिस के पास एके-47 जैसे हथियारों की 76 प्रतिशत, शॉटगन्स पिस्टल की 54 फीसद और गैस गन की सात प्रतिशत कमी है। राज्य की 63 सार्वजनिक इकाइयों में से 49 लाभ में हैं, लेकिन करों की वसूली में सरकार पिछड़ गई है।
2015 तक सरकार को 22,397 करोड़ रुपये वसूलने थे, लेकिन 9,957 करोड़ रुपये पांच साल से भी अधिक समय से बकाया हैं। सार्वजनिक क्षेत्र की इकाइयां 2012 तक सालाना 981 करोड़ ब्याज भर रही थीं जो 2015 में बढ़कर 1,804 करोड़ रुपये हो गया।
राज्य में 29 से 69 फीसद डॉक्टर्स की कमी है। 11 जिलों की 3.5 करोड़ जनता के लिए अस्पतालों में 10,645 बेड हैं, जबकि 2.5 करोड़ जनता के लिए महज 3,188 बेड ही हैं। राज्य में माता-शिशु मृत्यु दर में भी वृद्धि हो रही है और ग्रामीण इलाकों में आपातकालीन उपचार की कोई व्यवस्था नहीं है।
कांग्रेस के राष्ट्रीय प्रवक्ता शक्ति सिंह गोहिल ने ऊर्जा विकास निगम में 954 करोड़ रुपये की अनियमितता का आरोप लगाया है। केजी बेसिन पर बीस हजार करोड़ रुपये खर्च के बावजूद तेल और गैस नहीं निकलने पर भी उन्होंने सरकार पर हमला बोला है।