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अहमदाबाद मनपा में नेतृत्व परिवर्तन के लिए घमासान, हस्ताक्षर अभियान का आरोप-प्रत्यारोप

अहमदाबाद महानगरपालिका में घमासान छिड़ा हुआ हैं मनपा में कांग्रेस दो धड़ों में बट गई हैं। अहमदाबाद महानगरपालिका का चुनाव अगले छह महीने में आयोजित किया जायेगा।

By Babita kashyapEdited By: Published: Thu, 27 Feb 2020 12:46 PM (IST)Updated: Thu, 27 Feb 2020 12:46 PM (IST)
अहमदाबाद मनपा में नेतृत्व परिवर्तन के लिए घमासान, हस्ताक्षर अभियान का आरोप-प्रत्यारोप
अहमदाबाद मनपा में नेतृत्व परिवर्तन के लिए घमासान, हस्ताक्षर अभियान का आरोप-प्रत्यारोप

अहमदाबाद, जेएनएन। अहमदाबाद महानगरपालिका में विपक्ष के नेता बदलने और नहीं बदलने को लेकर घमासान छिड़ा हुआ हैं। इसके लिए मनपा में कांग्रेस दो धड़ों में बट गई हैं। एक गुट का कहना है कि विधायकों ने उन्हें अगले चुनाव में टिकट न देने की धमकी देकर नेतृत्व परिवर्तन वाले आवेदन में हस्ताक्षर करवा लिया हैं। वहीं दूसरे गुट ने विपक्ष के नेता को यथावत रखने के लिए आलाकमान से मांग की हैं।

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अहमदाबाद महानगरपालिका का चुनाव अगले छह महीने में ही आयोजित किया जायेगा। गौरतलब है कि वर्तमान मनपा शासक पार्टी का आखिरी बजट 17-18 फरवरी को आयोजित किया गया है। इसके पहले दिन 17 फरवरी को कांग्रेस के 33 नगरपार्षदों के हस्ताक्षर वाला एक ज्ञापन गुजरात के प्रभारी राजीव सातव को दिया गया। ज्ञापन में विपक्ष के नेता दिनेश शर्मा को बदलने की मांग की गई थी।

राजीव सातव इस प्रकार के ज्ञापन से भड़क गये थे। उन्होंने नगरपार्षदों से कहा कि इस समय उन्हें बजट की बैठक में हाजिर होना चाहिए। ऐसा कहकर उन्होंने सभी नगरपार्षदों को वापस भेज दिया था। अब इसके एक सप्ताह बाद इस बारे में नये सिरे से सुगबुगाहट शुरू हुई है।

कांग्रेस के भाईपुरा-हाटकेश्वर वार्ड की महिला नगरपार्षद ने आरोप लगाया है कि जो ज्ञापन राजीव सातव को दिया गया है, उसमें उनका हस्ताक्षर ही नहीं है। वहीं लांभा वार्ड के पलक पटेल सरखेज वार्ड की नफीसाबेन अंसारी तथा मक्तमपुरा की सुहानाबेन एवं जमालपुर वार्ड की अजराबानू कादरी ने कांग्रेस के शहर कोटडा एवं बापूनगर के विधायकों का उल्लेख कर कहा कि इन्होंने हस्ताक्षर करने के लिए मजबूर किया। कहा कि इसमें हस्ताक्षर नहीं करोगे तो चुनाव में टिकट नहीं मिलेगा। इन लोगों ने यह भी कहा कि चुनाव को अब केवल छह महीना बाकी हैं। इसका नेतृत्व परिवर्तन नहीं करवाया जाये।

विपक्ष के नेता दिनेश शर्मा ने अपनी प्रतिक्रिया में कहा कि नगरपार्षदों के घर लोगों को भेजकर धमकी दी गई। उन्हें नेतृत्व परिवर्तन वाले ज्ञापन में हस्ताक्षर के लिए मजबूर किया गया। उन्होंने यह भी कहा कि इलाक्षी बेन का तो बोगस हस्ताक्षर करवाया गया है।


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