Move to Jagran APP

गैर-फिल्मी संगीत के सटीक विपणन की जरूरत: महादेवन

संगीतकार-गायक शंकर महादेवन का कहना है कि गैर-फिल्मी संगीत के पतन का कारण उसकी खराब गुणवत्ता है। लेकिन वह यह भी महसूस करते है कि कोई भी संगीत तभी बिकता है, जब उसकी गुणवत्ता अच्छी हो और उसका अच्छे से विपणन किया जाए।

By Edited By: Published: Sat, 03 Mar 2012 11:56 AM (IST)Updated: Sat, 03 Mar 2012 11:56 AM (IST)
गैर-फिल्मी संगीत के सटीक विपणन की जरूरत: महादेवन

मुंबई। संगीतकार-गायक शंकर महादेवन का कहना है कि गैर-फिल्मी संगीत के पतन का कारण उसकी खराब गुणवत्ता है। लेकिन वह यह भी महसूस करते है कि कोई भी संगीत तभी बिकता है, जब उसकी गुणवत्ता अच्छी हो और उसका अच्छे से विपणन किया जाए।

loksabha election banner

उन्होंने यह बातें बाबुल सुप्रियो, जावेद अली, अल्का याज्ञनिक, शान और नेहा भसीन के एल्बम लव इज इन द एयर के लांच के मौके पर कही। महादेवन ने कहा, आज की तारीख में सिर्फ फिल्म संगीत का बोलबाला है और लोग समझते हैं कि सिर्फ यही बिकता है। हमें किसी को यह बोलने का मौका नहीं देना चाहिए किभारत में गैर-फिल्मी संगीत का कोई बाजार नहीं है।

44 वर्षीय महादेवन ने बताया, गैर-फिल्मी संगीत का कोई बाजार नही हैं क्योंकि उसकी गुणवत्ता अच्छी नहीं है। इसलिए मैं समझता हूं कि हमें कुछ अच्छे संगीत को लेकर एक साथ आगे आना चाहिए और उसका विपणन अच्छे और एक बड़ी फिल्म की तरह करना चाहिए। अगर आप ऐसा करेंगे तो लोग इसे जरूर सुनना पसंद करेंगे।

वर्ष 2011 में जिंदगी ना मिलेगी दोबारा, पटियाला हाउस और डॉन 2 : द किंग इज बैक जैसी फिल्मों में संगीत देने वाले महादेवन इस वक्त कमल हसन अभिनीत विश्वरूपम और मनोज वाजपेयी अभिनीत चटगांव के लिए संगीत तैयार कर रहे हैं।

मोबाइल पर ताजा खबरें, फोटो, वीडियो व लाइव स्कोर देखने के लिए जाएं m.jagran.com पर


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.