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Kathua Case verdict : दोषियों की सजा पर Javed Akhtar ने दिया ये बड़ा बयान

Javed Akhtar reaction on Kathua Case verdict कठुआ केस पर फैसला आने के बाद मशहूर लेखक जावेद अख्तर का भी बयान समाने आया है।

By Nazneen AhmedEdited By: Published: Wed, 12 Jun 2019 11:27 AM (IST)Updated: Thu, 13 Jun 2019 09:25 AM (IST)
Kathua Case verdict : दोषियों की सजा पर Javed Akhtar ने दिया ये बड़ा बयान
Kathua Case verdict : दोषियों की सजा पर Javed Akhtar ने दिया ये बड़ा बयान

नई दिल्ली, जेएनएन। जम्मू कश्मीर के कठुआ में आठ साल की बच्ची से यौन शोषण और फिर उसकी हत्या के मामले में पठानकोट की एक विशेष अदालत ने सोमवार को छह लोगों को दोषी करार दिया है। छह आरोपियों में से सांजी राम, दीपक खुजारिया और परवेश कुमार को अदालत ने उम्रकैद की सजा सुनाई है, जबकि बाकी तीन दोषियों तिलक राज, आनंद दत्त और सुरेंद्र वर्मा को पांच साल की सजा सुनाई गई है।

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कोर्ट का फैसला आने के बाद से ही सोशल मीडिया पर दोषियों को कम सजा दिए जाने पर बहस छिड़ी हुई है। लोगों का कहना है कि दोषियों को फांसी की सजा दी जानी चाहिए थी, उन्हें कम सजा दी गई है। इन सबके बीच मशहूर लेखक जावेद अख्तर का भी बयान समाने आया है।

कोर्ट द्वारा आरोपियों को सजा सुनाए जाने के बाद जावेद अख्तर ने कहा, मौत की सजा को लेकर उनके स्पष्ट विचार नहीं हैं कि ये सही है या गलत है। उन्होंने कहा कि मौत की सजा देना प्रभावी हल नहीं है, क्योंकि कई देशों में मृत्युदंड पर रोक है लेकिन वहां अपराध की दर नहीं बढ़ी है। वहीं कई देशों में मृत्युदंड की सजा दी जाती है लेकिन उन देशों में अपराध में कोई कमी दर्ज नहीं की गई है। जावेद अख्तर ने कहा कि उन्हें नहीं पता है कि आरोपियों को मृत्युदंड दिया जाना चाहिए या नहीं।

बता दें कि जम्मू कश्मीर के कठुआ की हीरानगर तहसील के एक गांव में 10 जनवरी 2018 को आठ साल की बच्ची पशु चराते वक्त गायब हो गई थी। तीन दिन बाद उसका शव एक धार्मिक स्थल के पास मिला था।

अख्‍तर के अनुसार, आजीवन कारावास की सजा के बावजूद अक्‍सर देखा जाता है कि ऐसे लोग दो-तीन साल जेल में बिताकर बाहर घूमने लगते हैं। जबकि आजीवन कारावास काफी सख्‍त सजा है और इसके बाद उन्‍हें इतनी आसानी से बाहर जाने नहीं दिया जाना चाहिए। यह व्‍यवस्‍थागत खामी है, ऐसे में अगर इसे सख्‍ती से क्रियान्वित किया जाए तो अपराधों की संख्‍या में कमी आ सकती है।
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