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चुनाव प्रचार के आखिरी दिन त्रिपुरा में राहुल गांधी, पीएम मोदी के 'वादों' पर किया वार

कांग्रेस पूर्वोत्तर में माणिक सरकार की अगुवाई वाली माकपा सरकार को सत्ता से हटाना चाहती है। भाजपा ने भी इसी मकसद के तहत अपनी पूरी ताकत झोंक दी है।

By Pratibha KumariEdited By: Published: Fri, 16 Feb 2018 01:22 PM (IST)Updated: Fri, 16 Feb 2018 01:54 PM (IST)
चुनाव प्रचार के आखिरी दिन त्रिपुरा में राहुल गांधी, पीएम मोदी के 'वादों' पर किया वार
चुनाव प्रचार के आखिरी दिन त्रिपुरा में राहुल गांधी, पीएम मोदी के 'वादों' पर किया वार

नई दिल्‍ली, एएनआइ। कांग्रेस अध्‍यक्ष राहुल गांधी एक बार फिर त्रिपुरा दौरे पर हैं। उन्‍होंने यहां जनसभा को संबोधित करते हुए एक बार फिर पीएम नरेंद्र मोदी पर निशाना साधा। उन्‍होंने कहा कि मोदीजी आते हैं, दो-तीन वादे कर जाते हैं और चुनाव के बाद भूल जाते हैं। राहुल गांधी ने कहा कि जहां भी जाते हैं, कुछ ना कुछ गलत वादा करके चले जाते हैं।

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चुनाव प्रचार का आखिरी दिन

गौरतलब है कि त्रिपुरा में चुनाव प्रचार का आज आखिरी दिन है और राहुल गांधी आखिरी दौर में भी कोई कसर नहीं छोड़ना चाहते हैं। कांग्रेस पूर्वोत्तर में माणिक सरकार की अगुवाई वाली माकपा सरकार को सत्ता से हटाना चाहती है। भाजपा ने भी इसी रणनीति के तहत त्रिपुरा में चुनाव प्रचार किया है। हालांकि दोनों पार्टियों के लिए त्रिपुरा की सियासी लड़ाई आसान नहीं होगी, क्योंकि राज्‍य में सालों से वाम सरकार का शासन चलता आया है। माणिक सरकार 1998 से त्रिपुरा के मुख्यमंत्री हैं।

18 फरवरी को त्रिपुरा में चुनाव
18 फरवरी को त्रिपुरा की 60 सदस्यी विधानसभा सीटों पर चुनाव होने हैं। इसका परिणाम तीन मार्च को घोषित होगा। कांग्रेस ने 56 विधानसभा सीटों पर अपने उम्मीदवार खड़े किए हैं।

कांग्रेस के लिए अस्तित्व की लड़ाई
त्रिपुरा विधानसभा चुनाव कांग्रेस के लिए अस्तित्व की लड़ाई के तौर पर देखा जा रहा है। देश में अपने अस्तिव को बचाने में जुटी कांग्रेस के लिए यह चुनाव किसी जंग से कम नहीं है। कांग्रेस इसे बड़ी चुनौती के रूप में देख रही है। हालांकि गुजरात विधानसभा चुनाव और राजस्थान उपचुनाव में कांग्रेस के बेहतर प्रदर्शन ने पार्टी में नई ऊर्जा जरूर भरने का काम किया है। वहीं, पिछले चुनाव में राज्य में मुख्य मुकाबला कांग्रेस और माकपा के बीच रहा था, लेकिन विधानसभा चुनाव 2018 में यह त्रिकोणीय मुकाबला देखने को मिल रहा है। कांग्रेस, माकपा के अलावा भाजपा ने भी त्रिपुरा की कुर्सी हथियाने के लिए पूरी ताकत झोंकी है।

भाजपा का 'कमल' खिलाने का लक्ष्य
त्रिपुरा की सत्ता को हासिल करने के लिए भाजपा 'मोदी मैजिक' की रणनीति के तहत काम कर रही है और इस मकसद से ही पीएम मोदी दो बार त्रिपुरा का दौरा किया। अपने दौरे के दौरान जहां उन्‍होंने त्रिपुरा की जनता से भाजपा की सरकार बनाने का आह्वान किया। वहीं माणिक सरकार पर जमकर हमला भी बोला।



पीएम मोदी ने गुरुवार को यहां एक जनसभा को संबोधित करते हुए कहा कि कम्युनिस्ट पार्टी गणतंत्र में भरोसा नहीं करती, वह हिंसा और 'गन-तंत्र' में भरोसा करती है। साथ ही पीएम मोदी ने यह भी कहा कि अब त्रिपुरा के लोग कम्‍युनिस्‍ट पार्टी की सरकार के साथ खड़े नहीं होगे। उन्‍हें ऐसा फेयरवेल दें कि वे कभी वापस लौटे ही नहीं।


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