CM रमन सिंह बोले, कांग्रेस भ्रम फैलाकर हमसे नहीं कर सकती है मुकाबला
डॉ. रमन दैनिक जागरण से कहते हैं जनता ने हमें पंद्रह साल तक परखा है और देखा है कि हम किस तरह विकास की नींव रखते हैं
रायपुर । छत्तीसगढ़ में पहले चरण का मतदान हो चुका है, जहां की 18 सीटों में से भाजपा के खाते में सिर्फ छह थीं। खुद मुख्यमंत्री डॉ रमन सिंह के राजनांदगांव में भी मतदान पूरा हो चुका है। बाकी बची 72 सीटों में से बहुमत से जीत के लिए चुनावी अभियान पर निकलते हुए डॉ. रमन दैनिक जागरण से कहते हैं जनता ने हमें पंद्रह साल तक परखा है और देखा है कि हम किस तरह विकास की नींव रखते हैं, फिर इमारत खड़ी करते हैं। जनता, कांग्रेस में सोच के दिवालियेपन को भी देख रही है पर चुनाव चुनाव होता है। संयोग से छत्तीसगढ़ में वोट फीसद का अंतर भी कम होता है, लेकिन मैं विश्वस्त हूं कि हमें पिछली बार से ज्यादा सीटें मिलेंगी।
दैनिक जागरण के राष्ट्रीय ब्यूरो प्रमुख आशुतोष झा से हुई विस्तृत बातचीत के अंश
सवाल - पहला प्रश्न सीधे तौर पर आपसे जुड़ा है। आपके संकल्प पत्र पर भी अटलजी की तस्वीर है, वहीं, विधानसभा क्षेत्र में लड़ाई अटलजी की भतीजी से हुई। कितना दबाव महसूस कर रहे हैं?
उत्तर - (हंसते हुए) अटलजी की विरासत कांग्रेस में रहकर कोई कैसे निभाएगा, यह आप ही बताइए? अटलजी तो हमेशा कांग्रेस के खिलाफ लड़े। कांग्रेस को कुछ नहीं सूझा तो अंतिम समय में करुणा शुक्लाजी को उतार दिया। कोई दबाव महसूस नहीं कर रहा हूं। आपके मन में संशय हो तो हमारे विधानसभा क्षेत्र राजनांदगांव जाकर पूछ लीजिए।
प्रश्न : लेकिन, आप लगातार चौथे कार्यकाल के चुनाव में उतर रहे हैं। दबाव तो होगा?
उत्तर : जब जनता साथ होती है तो दबाव नहीं होता। बाकी हर चुनाव मेहनत से लड़ा और जीता जाता है। वह हम कर रहे हैं।
प्रश्न : कई समीकरण बदल रहे हैं। पिछली बार सतनामी गुर बालदास आपके साथ खड़े थे और दस में नौ एससी आरक्षित सीट आपके पास थीं। अब वह कांग्रेस के पाले में हैं।
उत्तर : बहुत फर्क नहीं पड़ेगा। उनका बहुत सीमित (आठ-दस) सीटों पर प्रभाव है। और, आपने समीकरण बदलने की बात कही तो बसपा और जोगी (जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़) का गठबंधन भी देखिए। उसके असर को भी समझिए। मुझे लगता है कि भाजपा के पक्ष में ज्यादा वोट पड़ेंगे।
प्रश्न : लेकिन, जोगी बसपा गठबंधन आपके लिए भी तो नुकसानदेह होगा?
उत्तर : छत्तीसगढ़ में वोट फीसद का बहुत अंतर नहीं होता है। ऐसे में कोई भी थर्ड फोर्स अगर थोड़ी ताकत दिखाती है तो उसका फर्क पड़ता है। पिछली बार भी बसपा चारपांच फीसद वोट खींचने में सफल हुई थी। इस बार जोगी से उनका गठजोड़ है और माना जा रहा है कि पांच छह फीसद वोट ले जाएंगे। ऐसे में बहुत ईमानदारी से कहूं तो थोड़ा नुकसान भाजपा को भी होगा, लेकिन ज्यादा नुकसान कांग्रेस को होगा।
प्रश्न : आदिवासी आरक्षित सीटों की बात हो तो वहां कांग्रेस को पहले ही बढ़त है। फिर भाजपा को बढ़त कहां मिलेगी? आदिवासी वोटों को लुभाने के लिए आपने क्या किया?
उत्तर : आप पिछले चुनाव के नतीजों को अंतिम मत मानिए। पिछली बार चुनाव से पहले जो झीरम घाटी की घटना हुई थी, उसका प्रभाव दिखा था। लेकिन उसके पहले तो आदिवासी आरक्षित सीटों पर भाजपा, कांग्रेस के मुकाबले दोगुना थी। इस बार फिर आपको बदलाव दिखेगा। दूसरी बात, हमने उन्हें लुभाने के लिए कुछ नहीं किया है। हम ईमानदारी से उनके विकास के लिए काम कर रहे हैं। उनके विकास के लिए काम किया है।
प्रश्न : माना जा रहा था कि 15 साल की सत्ता विरोधी लहर से निपटने के लिए कुछ मंत्रियों के भी टिकट कटेंगे?
उत्तर : पिछले चुनाव मे हमने चेहरे बदलने के कई प्रयोग किए थे, लेकिन उसका बहुत सकारात्मक नतीजा नहीं आया। इसी वजह से इस बार हमने उतने ही परिवर्तन किए, जितने हमारे आकलन के अनुसार सही थे। नतीजा अच्छा आएगा।
प्रश्न : चुनाव में कांग्रेस की ओर से आउटसोर्सिंग को बड़ा मुद्दा बनाया जा रहा है। कह रहे हैं कि बाहरी लोगों को लाया जा रहा है। आप क्या कहेंगे?
उत्तर : कांग्रेस इसी सोच के कारण गिरती जा रही है। उसे यह समझ नहीं आ रहा है कि सरकार का विरोध करते-करते वह जनता का भी विरोध करने लगती है। हमारे पास गणित, फिजिक्स के शिक्षक नहीं हैं। बार-बार विज्ञापन देने के बावजूद उपलब्ध नहीं हो रहे हैं तो क्या स्कूल-कॉलेज बंद दें। अगर रायपुर का डॉक्टर बस्तर, दंतेवाड़ा नहीं जा रहा है तो क्या हम वहां के लोगों को छोड़ दें। हमने स्पेशल पैकेज देकर डॉक्टरों को वहां भेजना शुरु किया। अब बीजापुर में दो की जगह 32 डॉक्टर हो गए हैं। दंतेवाड़ा में 15-16 डॉक्टर हैं। कांग्रेस को इसमें भी परेशानी है। कांग्रेस वहां जनता से जाकर पूछे तो सही।
प्रश्न : अगर चौथा कार्यकाल भी मिलता है तो आप क्या करना चाहेंगे?
उत्तर : अगले कार्यकाल में तो हमारी सोच है नवा छत्तीसगढ़ यानी विकास के पटल का विस्तार। स्वास्थ्य क्षेत्र में हमारा ज्यादा फोकस होगा। टेलीकाम कनेक्टिविटी, बिजली, सड़क सभी क्षेत्रों में छत्तीसगढ़ को सबसे आगे की पंक्ति में खड़ा करना है, जिसपर हर छत्तीसगढ़िया को गर्व हो।
प्रश्न : पंद्रह साल की सबसे बड़ी उपलब्धि और अब तक की चुनौती क्या रही?
उत्तर : पीडीएस को हम सबसे बड़ी उपलब्धि मानते हैं। हमने केवल खाधान्ना सुरक्षा ही नहीं, पोषण सुरक्षा पर भी काम किया है। इसका प्रभाव दूसरी योजनाओं पर भी पड़ा। नक्सलवाद अभी पूरी तरह खत्म नहीं हो पाया है। सरगुजा शांत हो गया है, लेकिन बस्तर अब भी अशांत है।
प्रश्न : कांग्रेस की रणनीति में कोई ऐसी चीज, जिसे आप खुद के लिए चुनौती मानते हों?
उत्तर : कांग्रेस तो बिखरी हुई है। वहां तो एक हेलीकॉप्टर में भी नेता बैठने से बचते हैं। उनकी नीयत और नीति दोनों गलत हैं। कभी फर्जी ,कभी गलत आरोप।
प्रश्न : 8 में आपके पास 50 सीटें थीं, पिछली बार एक और कम हो गई। इस बार कितनी मिलेंगी?
उत्तर : लक्ष्य तो हमारा बहुत बड़ा है, और उसका कारण यह है कि हम जनता की हर जरूरत के साथ खड़े हैं। हम 50 से ऊपर ही रहेंगे।