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CG Election 2018 : ईवीएम पर मतदान के साथ शुरू हुआ विवाद अब तक नहीं थमा

CG Election 2018 : वीवीपैट की पर्ची के जरिये मतगणना करने की प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष भूपेश बघेल की याचिका पर सोमवार को सुनवाई होनी है।

By Hemant UpadhyayEdited By: Published: Sun, 09 Dec 2018 09:52 PM (IST)Updated: Sun, 09 Dec 2018 09:52 PM (IST)
CG Election 2018 : ईवीएम पर मतदान के साथ शुरू हुआ विवाद अब तक नहीं थमा
CG Election 2018 : ईवीएम पर मतदान के साथ शुरू हुआ विवाद अब तक नहीं थमा

रायपुर। छत्तीसगढ़ में ईवीएम और उसकी सुरक्षा को लेकर मतदान के साथ शुरू हुआ विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है।

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दहशतजदा कांग्रेसी जिलों में बने स्ट्रांग रूम के बाहर दिन-रात पहरेदारी कर रहे हैं। रोज नए- नए कारणों से हंगामा हो रहा है। मामला हाई कोर्ट तक पहुंच चुका है। वीवीपैट की पर्ची के जरिये मतगणना करने की प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष भूपेश बघेल की याचिका पर सोमवार को सुनवाई होनी है।

कांग्रेस के खौफ की वजह

ईवीएम को लेकर कांग्रेसियों के खौफ की वजह भी है। 15 वर्ष से राज्य में सत्ता से बाहर बैठे कांग्रेसियों को इस बार कुर्सी नजर आ रही है। उन्हें वोटरों से बहुत उम्मीद है, लेकिन डर भी सता रहा है कि कहीं ईवीएम के कारण भाजपा जीत न जाए। दूसरी वजह मतदान के दौरान ईवीएम खराब हुए और उन्हें बदला भी गया। वहीं, स्ट्रांग रूम के बाहर आए दिन हो रही घटनाएं भी डर की बड़ी वजह हैं।

बदले गए चार सौ से अधिक कंट्रोल यूनिट

छत्तीसगढ़ में दो चरणों में मतदान हुआ। पहले चरण में 18 और दूसरे चरण में बाकी 72 सीटों के लिए वोट डाले गए। इन 90 सीटों के लिए कुल 23677 मतदान केंद्र बनाए गए थे। मतदान के पहले और दौरान ईवीएम के बैलेट यूनिट (जिस पर प्रत्याशियों का नाम रहता है बटन दबाकर वोट दिया जाता है), कंट्रोल यूनिट (मतदान केंद्र के पीठासीन अधिकारी के पास रहता है और इसी से वोट की गिनती होती है) और वीवीपैट (जिस पर मतदान के बाद वोट किसे दिया वह पर्ची दिखाई देती है) बदले गए। आयोग की तरफ से जारी आंकड़ों के अनुसार दोनों चरणों में कुल 401 कंट्रोल यूनिट बदलने पड़े।

वीवीपैट में ज्यादा गड़बड़ी

मतदान के पहले ईवीएम का प्रदर्शन किया गया। इस दौरान 133 वीपीपैट बदलने पड़े। मॉक पोलिंग के दौरान 399 और मतदान के दौरान 443 बदले गए। इसी तरह प्रदर्शन के दौरान 56, मॉक पोलिंग में 209 और मतदान के दौरान 136 कंट्रोल यूनिट बदले गए। वहीं, क्रमश : 38, 222 और 167 बैलेट यूनिट बदले गए।

ऐसी घटनाओं ने किया 'आग में घी" का काम

धमतरी : 27 नवंबर को तहसीलदार राकेश धु्रव दो लोगों के साथ बिना किसी को सूचना दिए स्ट्रांग रूम में प्रवेश कर गए। आरोप है कि वे लोग करीब तीन घंटे तक अंदर रहे। हालांकि बाद में तहसीलदार को निलंबित कर दिया गया।

बेमेतरा : पांच दिन पहले स्ट्रांग रूम के बाहर तैनात जवान लैपटॉप का उपयोग करते पाया गया। इसको लेकर कांग्रेसियों ने जमकर हंगामा किया। सूचना पर पहुंचे एसपी ने जवान का लैपटॉप जब्त कर लिया।

जगदलपुर : चार दिन पहले जगदलपुर स्थित स्ट्रांग रूम परिसर में तीन लोग प्रवेश कर गए उनके पास लैपटॉप भी था। दावा किया जा रहा है कि तीनों मोबाइल कंपनी के कर्मचारी हैं और टॉवर की रिपेयरिंग करने गए थे।

जशपुर : रविवार को मतगणना की तैयारी के लिए टेंट लेकर पहुंचे वाहन की जांच के दौरान सरकारी सील, वीवीपेट, कंट्रोल यूनिट और बैलेट यूनिट से संबंधित दस्तावेज,सीरियल नंबर, सील लगे हुए लिफाफा मिला।


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