Delhi News: पानी की बूंद-बूंद के लिए तरस रहा मुंगेशपुर का शिवाला तालाब
ग्रामीणों ने तालाब में जल को संरक्षित करने के लिए उसमें भूमिगत जल को तालाब में डालना प्रारंभ किया लेकिन उसके हालात में सुधार नहीं हुआ। गांव के लोगों के अनुसार तालाब में पानी का भूमि रिसाव के कारण पानी ठहर नहीं पाता।
नई दिल्ली [शिप्रा सुमन]। दिल्ली के तालाबों की हालत किसी से छिपी नहीं है। कभी यह तालाब जलस्नोत का भंडार हुआ करते थे, लेकिन समय के साथ इनकी हालत चिंताजनक होती गई। जिन तालाबों में पक्षी से लेकर पशु पीने के पानी के लिए बसेरा डाला करते थे आज वहां एक चिड़िया तक नहीं आती। उत्तरी दिल्ली इलाके के मुंगेशपुर गांव के तालाब की हालत भी कुछ ऐसी ही है। शिवाला नाम से प्रसिद्ध यह गांव का प्राचीन तालाब है। आज इसमें पानी से अधिक घास मौजूद है।
ग्रामीणों का कहना है कि तालाब में जल का स्तर काफी नीचे चला गया है और इसके कारण पानी इसमें ठहर नहीं पाता। इस वजह से इसमें पानी कम और घास अधिक है और गंदगी की भरमार है। गर्मी के दिन में ऐसा लगता है जैसे तालाब पानी की हर बूंद के लिए तरस रहा है।
कारखाने की गंदगी से तालाब प्रदूषित : ग्रामीणों का कहना है कि गांव का शिवाला तालाब और नजदीक के नहर में आसपास के कारखाने का दूषित पानी बहाया जाता है। इससे इसका पानी प्रदूषित हो गया है और अब यह किसी भी तरह के प्रयोग में नहीं लाया जा सकता। इतना ही नहीं स्थानीय लोगों का कहना है कि कारखाने में उपयोग में लाए जाने वाला पानी भी इसी तालाब से लिया जाता है। बड़ी मात्र में पानी का दोहन होने से भी तालाब का पानी सूख रहा है।
तालाब को बचाने के किए उपाय, पर नहीं मिली कामयाबी : ग्रामीणों ने तालाब में जल को संरक्षित करने के लिए उसमें भूमिगत जल को तालाब में डालना प्रारंभ किया, लेकिन उसके हालात में सुधार नहीं हुआ। गांव के लोगों के अनुसार तालाब में पानी का भूमि रिसाव के कारण पानी ठहर नहीं पाता। ऐसे में पशु पक्षी पानी के लिए इधर-उधर भटकते हैं। रखरखाव पर ध्यान नहीं दिये जाने से तालाब में घास और गंदगी जमा हो गई है और चारों तरफ घनी झाड़ियां हो गई हैं। इससे लोगों को सांप बिच्छू का भी खतरा बना रहता है।
आओ तालाब बचाएं
- तालाब की दशा को सुधारने के लिए यह जरूरी है इसके रखरखाव पर ध्यान दिया जाए लेकिन कोई सुध लेने को तैयार नहीं। -मनीष, ग्रामीण।
- दिल्ली में पानी की किल्लत को दूर करने के लिए तालाब और जोहड़ों को संरक्षित किया जाए। यह तभी संभव है जब इसके लिए सख्त कानून बनाए जाएं। विकास, ग्रामीण।
- गांव का प्राचीन तालाब लोगों की आस्था से भी जुड़ा है, लेकिन इसकी बदहाली को देखकर बुरा लगता है। इसपर ध्यान दिया जाए। अनिल राणा, ग्रामीण।
- तालाब को स्वच्छ रखने के लिए कारखानों की गतिविधियों पर निगरानी रखी जाए। इसके लिए प्रशासन की ओर से जारी निर्देशों का पालन किया जाना चाहिए। अरविंद, ग्रामीण।