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Surya Grahan 2022: जानिये- अगले साल लगने वाले सूर्य ग्रहण के बारे में, क्या भारत में देखें जा सकेंगे

Solar Eclipse 2022 साल का अंतिम सूर्य ग्रहण समाप्त हो चुका है। शनिवार को सुबह 10 बजकर 59 मिनट से शुरू हुआ सूर्य ग्रहण दोपहर 3 बजकर 7 मिनट पर खत्म हुआ। सूर्य ग्रहण की यह खगोलीय घटना 4 घंटे की रही।

By Jp YadavEdited By: Published: Sat, 04 Dec 2021 09:28 AM (IST)Updated: Sat, 04 Dec 2021 03:26 PM (IST)
Surya Grahan 2022: जानिये- अगले साल लगने वाले सूर्य ग्रहण के बारे में, क्या भारत में देखें जा सकेंगे
Surya Grahan 2022: साल का अंतिम सूर्य ग्रहण समाप्त, जानिये- क्या करें सूतक काल की स्थिति में

नई दिल्ली, आनलाइन डेस्क। Surya Grahan 2022: साल का अंतिम सूर्य ग्रहण समाप्त हो चुका है। शनिवार को सुबह 10 बजकर 59 मिनट से शुरू हुआ सूर्य ग्रहण दोपहर 3 बजकर 7 मिनट पर खत्म हुआ। सूर्य ग्रहण की यह खगोलीय घटना 4  घंटे की रही। यह सूर्य ग्रहण दिल्ली-एनसीआर समेत देश के किसी हिस्से में नहीं दिखाई दिया, बावजूद इसके इस खगोलीय घटना पर वैज्ञानिकों के साथ करोड़ों लोगों की नजरें रहीं। दरअसल, शनिवार को लगने वाला सूर्य ग्रहण 4 घंटे 8 मिनट का मिनट का था और यह दक्षिण अमेरिका, आस्ट्रेलिया, दक्षिण अफ्रीका और दक्षिणी एलांटिक देशों में देखा दिया। दिल्ली-एनसीआर समेत समूचे दिल्ली-एनसीआर में सूर्य ग्रहण की खगोलीय घटना नहीं नजर आई।

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गौरतलब है कि अगले साल यानी 2022 में भी 2 सूर्य ग्रहण लगेंगे। पहला सूर्य ग्रहण 30 अप्रैल को लगेगा और यह, आंशिक ग्रहण होगा। यह सूर्य ग्रहण 30 अप्रैल को दोपहर 12 बजकर 15 मिनट से शुरू होगा और शाम 4 बजकर 7 मिनट तक समाप्त होगा। साल का दूसरा सूर्य ग्रहण 25 अक्टूबर को लगेगा। या भी आंशिक ग्रहण ही होगा। भारतीय समयानुसार यह सूर्य ग्रहण शाम 4 बजकर 29 मिनट से शुरू होगा और 5 बजकर 42 मिनट पर समाप्त होगा।

हिंदू पंचांग के अनुसार, इस साल का अंतिम सूर्य ग्रहण कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की अमावस्या तिथि यानी 4 दिसंबर को लगा। इससे पहले 10 जून 2021 को साल का पहला सूर्य ग्रहण लगा था। ज्योतिषियों की मानें तो कृष्ण पक्ष की अमावस्या को ही लगने वाले सूर्य ग्रहण का प्रभाव मेष से लेकर मीन राशि तक यानी सभी 12 राशियों पर पड़ता है।

गौरतलब है कि शनिवार को लगे सूर्य ग्रहण के दौरान सूतक काल मान्य नहीं था, क्योंकि यह सूर्य ग्रहण उपछाया ग्रहण था। ज्योतिषाचार्यों के अनुसार, पूर्ण ग्रहण होने पर ही सूतक काल मान्य होता है, जबकि 4 दिसंबर को लगने वाला सूर्य ग्रहण भारत में दिखाई भी नहीं दिया। इसके साथ ही आंशिक या उपछाया होने पर सूतक नियमों का पालन अनिवार्य नहीं होता है। ऐसे में शनिवार को ज्यादातर लोगों ने सूतक काल के नियम नहीं माने।

सूर्य ग्रहण का टाइमिंग

शनिवार को लगने वाला सूर्य ग्रहण सुबह 10 बजकर 59 मिनट से शुरू और दोपहर 3 बजकर 7 मिनट पर खत्म हुआ। यह 4 घंटे से कुछ अधिक देर तक रहा।

बता दें कि सूतक काल को कुछ लोग मानते हैं तो कुछ लोग बिल्कुल नहीं। ऐसे जो लोग सूतक काल को मानते हैं, उन्हें कुछ बातों को अवश्य ध्यान रखना चाहिए। पुजारियों और ज्योतिषाचार्यों के अनुसार, सूर्य ग्रहण जारी रहने के दौरान शुभ कार्य से बचना चाहिए। ईश्वर का याद कर भजना कीर्तन करना चाहिए। वहीं, सूर्य ग्रहण खत्म होने के बाद गंगाजल के पानी से स्नान करना चाहिए। गंगा जल उपलब्ध नहीं हो तो सामान्य पानी का इस्तेमाल करें। पूजा करने के बाद  भगवान का दर्शन एवं पूजा पाठ करना चाहिए। सूर्य ग्रहण के बाद दान आदि करना भी अच्छा कार्य माना जाता है।


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