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Delhi Monsoon: इस बार मानसून के दौरान PWD के फील्ड कर्मचारियों को नहीं मिलेगी छुट्टी, इसके पीछे ये है कारण

जलभराव से मुक्त रखने की तैयारियों के मद्देनजर इस बार मानसून के दौरान लोक निर्माण विभाग के फील्ड कर्मचारियों को छुट्टी नहीं दी जाएगी। पीडब्ल्यूडी ने मंगलवार को आदेश जारी कर कहा कि सड़क रखरखाव और बिजली इकाइयों के फील्ड कर्मचारियों को छुट्टी लेने की अनुमति नहीं दी जाएगी।

By Vinay Kumar TiwariEdited By: Published: Tue, 22 Jun 2021 07:09 PM (IST)Updated: Tue, 22 Jun 2021 07:09 PM (IST)
मानसून के दौरान पीडब्ल्यूडी के फील्ड कर्मियों को नहीं मिलेगी छुट्टी

राज्य ब्यूरो, नई दिल्ली। दिल्ली को जलभराव से मुक्त रखने की तैयारियों के मद्देनजर इस बार मानसून के दौरान लोक निर्माण विभाग (पीडब्ल्यूडी) के फील्ड कर्मचारियों को छुट्टी नहीं दी जाएगी। पीडब्ल्यूडी ने मंगलवार को आदेश जारी कर कहा कि सड़क रखरखाव और बिजली इकाइयों के फील्ड कर्मचारियों को छुट्टी लेने की अनुमति नहीं दी जाएगी। वजह, राजधानी को जलभराव से मुक्त रखने की तैयारी चल रही है।

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पीडब्ल्यूडी कार्यालय आदेश के मुताबिक, किसी भी अपरिहार्य असाधारण परिस्थितियों में संबंधित मुख्य अभियंता से पहले से मंजूरी लेने पर अवकाश स्वीकृत किया जा सकता है। आदेश में कहा गया है कि आगामी मानसून को देखते हुए सक्षम प्राधिकारी द्वारा यह निर्णय लिया गया है कि लोक निर्माण विभाग के नियंत्रण के तहत स्टार्म वाटर पंप हाउस का रखरखाव करने वाले, सड़क रखरखाव और बिजली इकाइयों के किसी भी फील्ड कर्मचारी को मॉनसून अवधि के दौरान छुट्टी नहीं दी जाएगी।

बता दें कि पिछले साल मिंटो ब्रिज अंडरपास पर जलभराव में गाड़ियों के फंसने की तस्वीरें सामने आई थीं जहां एक डिलिवरी वैन चालक डूब गया था। दिल्ली को जलभराव से मुक्त रखने के लिए नगर निकाय बड़े पैमाने पर नालों से गाद और कचरा हटाने का काम कर रहे हैं।

मानसून से पहले नालों से गाद निकालने का काम होगा पूरा

पीडब्ल्यूडी और दिल्ली के तीन नगर निगमों (एमसीडी) ने उम्मीद जताई है कि महीने के अंत तक मानसून की शुरुआत से पहले नालों से गाद निकालने का काम पूरा कर लिया जाएगा। गौरतलब है कि पीडब्ल्यूडी राजधानी में 1260 किलोमीटर सड़कों का भी रखरखाव करता है।

इससे पहले पीडब्ल्यूडी के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि काम पटरी पर है और 20 से 25 जून के बीच पूरा हो जाएगा। उन्होंने बताया कि मोटे अनुमान के तहत 1054 किलोमीटर के दायरे में फैले करीब दो हजार नाले पीडब्ल्यूडी के तहत आते हैं।


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