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Weather Update: पढ़िए- दिल्ली को लेकर मौसम विभाग की भविष्यवाणी, जानें- कब होगी बारिश

मौसम विभाग की मानें तो दिल्ली के साथ-साथ एनसीआर के शहरों नोएडा ग्रेटर नोएडा गुरुग्राम गाजियाबाद फरीदाबाद में 13 से 15 मार्च के बीच बारिश होगी।

By JP YadavEdited By: Published: Tue, 12 Mar 2019 10:41 AM (IST)Updated: Tue, 12 Mar 2019 11:43 AM (IST)
Weather Update: पढ़िए- दिल्ली को लेकर मौसम विभाग की भविष्यवाणी, जानें- कब होगी बारिश
Weather Update: पढ़िए- दिल्ली को लेकर मौसम विभाग की भविष्यवाणी, जानें- कब होगी बारिश

नई दिल्ली, जेएनएन। मार्च अब आधा बीतने को है, जबकि मौसम में उतार-चढ़ाव अभी भी जारी है। सोमवार को दिनभर तेज धूप खिली रहने से दिल्लीवासियों को गर्मी का अहसास हुआ तो शाम के समय विभिन्न इलाकों में हल्की बारिश भी हुई। इससे फिर ठंड थोड़ी बढ़ गई। वहीं, मौसम विभाग की मानें तो दिल्ली के साथ-साथ एनसीआर के शहरों नोएडा, ग्रेटर नोएडा, गुरुग्राम, गाजियाबाद, फरीदाबाद में 13 से 15 मार्च के बीच बारिश होगी। इस वजह पश्चिमी विक्षोभ के चलते पहाड़ी राज्यों में मौसमी बदलाव है। 

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सोमवार को अधिकतम तापमान सामान्य से एक डिग्री कम 28.4 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया, जबकि न्यूनतम तापमान सामान्य से दो डिग्री कम 12.4 डिग्री सेल्सियस दर्ज हुआ। नमी का स्तर 37 से 91 फीसद तक रहा। मंगलवार को भी आंशिक रूप से बादल छाए रहेंगे, हालांकि बारिश की संभावना नहीं है। अधिकतम तापमान 28 और न्यूनतम 10 डिग्री सेल्सियस रहने की संभावना है।

मौसम विभाग के मुताबिक, पश्चिमी विक्षोभ के प्रभाव से बुधवार और बृहस्पतिवार को भी हल्की बारिश की संभावना है। इसके बाद सप्ताहांत में भी आंशिक रूप से बादल छाए रहेंगे। हालांकि पूरे सप्ताह तापमान 11 से 28 डिग्री सेल्सियस तक ही रहने की संभावना है। दूसरी तरफ प्रदूषण का स्तर सोमवार को भी नियंत्रण में रहा।

सोमवार को यह दिल्ली-एनसीआर में सभी जगह सामान्य श्रेणी में रहा। दिल्ली का एयर इंडेक्स 187, फरीदाबाद का 146, गाजियाबाद का 193, ग्रेटर नोएडा का 180, गुरुग्राम का 159 और नोएडा का 177 दर्ज किया गया।

जानें पश्चिमी विक्षोभ के बारे में

पश्चिमी विक्षोभ या वेस्टर्न डिस्टर्बेंस एक तरह का उष्णकटिबंधीय तूफान है जो मेडिटरेनियन रीजन से शुरू होता है और सर्दियों के मौसम में उत्तर भारत में बारिश की वजह बनता है.पश्चिमी विक्षोभ वह होता है जब उत्तर अटलांटिक महासागर ये हवाएं एक गति व एक दिशा में चलती है, पर यही हवाएं जब दक्षिण-पश्चिम में चलने लगती है तो इसे पश्चिमी विक्षोभ उत्पन्न हो जाता है। दिशा बदलते ही हवाओं के वाष्प बादलों का रूप धारण कर लेते हैं। ऐसे में ये बादल इरान, इराक, अफगानिस्तान, पाकिस्तान, जम्मू-कश्मीर, पंजाब सहित समूचे उत्तर भारत के मौसम को प्रभावित करती हैं। उन्होंने बताया कि ये हवाएं प्रति दिन 700 से 800 किलोमीटर का सफर तय जब पहाड़ी क्षेत्र से गुजरती हैं तो वहां बर्फबारी होती है, जबकि मैदानी क्षेत्रों में भारी बरसात का कारण बनती हैं।

स्टर्बेंस शब्द से मतलब है हवाओं के दबाव में गड़बड़ी या कमी आना। यहां पर हम स्कूलों में पढ़ा हुआ सामान्य ज्ञान फिर दोहरा लेते हैं कि गर्मियों में हवाएं गर्म होकर ऊपर उठने लगती हैं, इसलिए जमीन के पास हवा का दबाव कम हो जाता है। इसके उलट सर्दियों में हवाओं का ऊपर उठना नहीं हो पाता इसलिए हवा का दबाव अधिक रहता है।

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