Coronavirus: दिल्ली में Hand Sanitizers की अब नहीं होगी कमी, केजरीवाल सरकार का बड़ा फैसला
Coronavirus दिल्ली में कॉस्मेटिक्स और ड्रग मैनुफैक्चरर 30 जून 2020 तक बिना लाइसेंस के हैंड सिनिटीज़र बना सकेंगे।
नई दिल्ली [संजीव गुप्ता]। दिल्ली में अब हैंड सैनिटाइजर की कोई कमी नहीं होगी। दिल्ली सरकार ने कॉस्मेटिक्स और ड्रग मैनुफैक्चरर को 30 जून 2020 तक बिना लाइसेंस के हैंड सैनिटाइजर बनाने की छूट दी है। दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सतेंद्र जैन ने इस संबंध में आदेश जारी किए हैं।
दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सतेंद्र जैन ने इससे संबंधित आदेश की कॉपी ट्वीट की है। उन्होंने बताया कि बाजार में हैंड सैनिटाइजर की कमी को देखते हुए दिल्ली में ड्रग और कॉस्मेटिक्स के सभी निर्माताओं को एथेनॉल पर आधारित ऐसी वस्तुओं के उत्पादन की अनुमति दी गई है।
दिल्ली सरकार के इस फैसले से राष्ट्रीय राजधानी में हैंड सैनिटाइजर की कमी को पूरा किया जा सकेगा। इससे लोगों को बड़ी राहत मिलेगी। दरअसल कोरोना के संक्रमण के बढ़ते खतरे को देखते हुए दिल्ली में हैंड सैनिटाइजर की बहुत मांग है। ऐसे में बहुत से लोगों को हैंड सैनिटाइजर मेडिकल की दुकानों से नहीं मिल रहा है।
भगवान से दुआ है कि स्टेज-3 पर न पहुंचे
मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने मंगलवार को कहा कि दिल्ली में पिछले 40 घंटे के दौरान कोरोना से ग्रसित एक भी नया मरीज नहीं आया है, यह बहुत ही राहत की बात है। उन्होंने कहा कि सरकार कोरोना से उत्पन्न समस्या से लोगों को राहत देने के लिए कई कदम उठा रही है। दिल्ली में रैन बसेरों की संख्या बढ़ाई जा रही है। गरीबों को खाना खिलाने के लिए केंद्र भी बढ़ा रहे हैं। लोगों की जिंदगी बचानी जरूरी है, इसलिए लॉकडाउन और कर्फ्यू जैसे कठोर कदम उठाने पड़ रहे हैं।
मुख्यमंत्री ने एडिशनल डीसीपी सुकांत की सराहना की
मुख्यमंत्री ने कहा कि सुकांत बल्लभ उत्तर-पूर्वी दिल्ली के एडिशनल डीसीपी हैं। मैंने उनकी कहानी पढ़ी कि किस तरह से जब लॉकडाउन था। उस समय एक व्यक्ति को डायलसिस के लिए अस्पताल जाना था। उन्हें एंबुलेंस भी नहीं मिल रही थी और कोई साधन भी नहीं मिल रहा था। सुकांत जी ने अपनी गाड़ी में उस व्यक्ति को बैठाकर अस्पताल छोड़ा।
मुख्यमंत्री केजरीवाल ने कहा कि मैंने अपील की थी कि कोई भूखा नहीं रहना चाहिए। कोई भूख से नहीं मरना चाहिए। अगर किसी के पास खाने के लिए कुछ नहीं है तो नाइट शेल्टर में जाकर खाना खा सकते हैं। खुशी है कि बहुत सारे लोग सामने आकर मदद करने की बात कही है। कोई कह रहा है कि वह 10 हजार खाने के पैकेट बांटेगा।