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उत्तरी निगम मुख्यालय में 242 प्राथमिक शिक्षकों को सौंपें गए नियुक्ति पत्र

दिल्ली भाजपा के अध्यक्ष आदेश गुप्ता ने कहा कि बच्चों में विद्यमान प्रतिभा को निखार कर शिक्षक उन्हें उत्कृष्ट बनाते हैं । प्राथमिक शिक्षा के दौरान शिक्षकों की भूमिका और भी महत्वपूर्ण होती है। यह नींव है ।

By Prateek KumarEdited By: Published: Fri, 26 Nov 2021 05:29 PM (IST)Updated: Fri, 26 Nov 2021 05:29 PM (IST)
निगम विद्यालयों में बच्चों को सभी संभव सुविधाएं प्रदाने करने के लिए सभी आवश्यक कदम उठा रही है।

नई दिल्ली [नेमिष हेमंत]। दिल्ली भाजपा के अध्यक्ष आदेश गुप्ता ने कहा कि बच्चों में विद्यमान प्रतिभा को निखार कर शिक्षक उन्हें उत्कृष्ट बनाते हैं। प्राथमिक शिक्षा के दौरान शिक्षकों की भूमिका और भी महत्वपूर्ण होती है। यह नींव है। इसके ऊपर ही छात्रों की उच्च शिक्षा के साथ ही देश का सुनहरा भविष्य खड़ा होता है। इसलिए नगर निगम ने प्राथमिक शिक्षा के जरिए शुरू से ही बच्चों के भविष्य को दिशा देने का बीड़ा अपने हाथ में लिया है और उस ओर पूरी तन्मयता और लगन से अग्रसर है। वह निगम मुख्यालय सिविक सेंटर में नगर निगम में नियुक्त प्राथमिक शिक्षकों को नियुक्ति पत्र सौंपने के कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे।

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छात्र शिक्षक अनुपात का रखा जा रहा है बैलेंस

इस अवसर पर उत्तरी दिल्ली के महापौर राजा इकबाल सिंह, शिक्षा समिति के अध्यक्ष आलोक शर्मा व शिक्षा निदेशक शिक्षा रंजीत सिंह समेत कई अन्य लोग उपस्थित रहे। आदेश गुप्ता ने कहा कि निगम द्वारा प्राथमिक शिक्षकों को नियुक्ति पत्र सौंपे जाने के बाद ये सभी शिक्षक अपनी सेवाएं निगम विद्यालयों में दे सकेंगे। महापौर ने बताया कि बच्चों को नि:शुल्क शिक्षा प्रदान करने और नगर निगम के स्कूलों में छात्र शिक्षक अनुपात बनाए रखने के लिए योग्य उम्मीदवारों को नियुक्ति पत्र सौंप गए है। उन्होंने कहा कि निगम विद्यालयों में बच्चों को सभी संभव सुविधाएं प्रदाने करने के लिए सभी आवश्यक कदम उठा रही है।

मुख्यमंत्री और शिक्षा मंत्री से की 22 हजार अतिथि शिक्षकों को नियमित करने की मांग

वहीं, दिल्ली के सरकारी स्कूलों में कार्यरत अतिथि शिक्षकों ने मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और शिक्षा मंत्री मनीष सिसोदिया से नियमित करने की मांग की। आल इंडिया गेस्ट टीचर्स एसोसिएशन के पदाधिकारी शोएब राणा ने कहा कि दिल्ली में लगभग 22 हजार अतिथि शिक्षक कार्यरत हैं। ये सभी बीते छह साल नियमित होने की राह देख रहे हैं। लेकिन, अब तक एक भी अतिथि शिक्षक को नियमित नहीं किया गया है। शोएब के मुताबिक सरकार वो समय-समय पर उचित मंचों पर अतिथि शिक्षकों को नियमित करने की मांग भी उठा चुके हैं। इसके साथ ही उन्होंने सरकार से समान कार्य व समान वेतन कानून लागू करने की भी मांग की।उल्लेखनीय है कि सभी अतिथि शिक्षक 10 साल से ज्यादा राजधानी के सरकारी स्कूलों में कार्यरत हैं।


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