वायुसेना के लिए यादगार है वर्ष 2018, जानें- वायुसेना प्रमुख ने क्या कहा
87वें वायुसेना दिवस के शानदार प्रदर्शन पर वायुसैनिकों को दी बधाई। हिंदुस्तान एरोनॉटिक्स लिमिटेड, भारत इलेक्ट्रॉनिक्स और डीआरडीओ दे रहा वायुसेना का साथ।
गाजियाबाद (जेएनएन)। पारंपरिक और विंटेज तकनीक को संजोने के साथ ही भारतीय वायुसेना भविष्य की चुनौतियों के प्रति पूरी तरह तैयार है। भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड, हिंदुस्तान एरोनॉटिक्स लिमिटेड और डीआरडीओ के साथ मिलकर वायुसेना लगातार स्वदेशी विमानों और राडार को विकसित कर रही है। तेजस और स्पाइडर में किये गए परिवर्तन इसका उदाहरण हैं। ये बातें 87वें वायुसेना दिवस समारोह के दौरान हिंडन एयरफोर्स स्टेशन में वायुसेना प्रमुख बीएस धनोआ ने कहीं। उन्होंने 2018 में वायुसेना के प्रदर्शन को देखते हुए सभी जवानों को बधाई दी।
ग़ाज़ियाबाद के हिण्डन एयरफोर्स स्टेशन में भारतीय वायुसेना के 87वें स्थापना दिवस पर वायु सेना प्रमुख बीएस धनोआ ने कहा कि वर्ष 2018 वायुसेना के लिए यादगार वर्ष रहा है। ऑस्ट्रेलिया, नेपाल, भूटान व अन्य देशों के साथ हुई बहुराष्ट्रीय एक्सरसाइज से वायु सेना को नई ऊर्जा मिली है। मिग-29 और मिराज 2000 के अपग्रेड से वायुसेना और शक्तिशाली होने जा रही है।
भारतीय एजेंसी हिंदुस्तान एरोनॉटिक्स लिमिटेड, भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड और डीआरडीओ के साथ मिलकर लगातार स्वदेशी तकनीक से विमानों को अपग्रेड किया जा रहा है। इसके अलावा भर्ती वायुसेना, एरो स्पेस सुरक्षा की ओर भी लगातार ध्यान दे रही है। न सिर्फ देश की सुरक्षा के मुद्दों पर बल्कि आपातकालीन स्थितियों में भी वायु सेना का योगदान लगातार बढ़ता जा रहा है।
पिछले दिनों केरल में आई बाढ़ हो या हिमाचल समेत विदेश में आई आपदाएं, वायुसेना ने हर मोर्चे पर पूरी मेहनत से काम कर लोगों की जान बचाई है। हाल ही में हुए एशियाई गेम्स और कॉमनवेल्थ गेम्स में भारतीय वायु सैनिकों ने शानदार प्रदर्शन करते हुए एक गोल्ड मेडल, दो सिल्वर मेडल और चार कांस्य पदक जीतकर दिखा दिया है कि वह हर क्षेत्र में अव्वल हैं। वायुसेना प्रमुख ने कहा कि देश के हर मोर्चे पर वायुसेना डटकर दुश्मन का सामना करने को तैयार है।