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चाय बनाने की मशीन ला सकती है AIIMS में तबाही, विभाग ने जारी की चेतावनी

AIIMS fire एम्स में आग का खतरा बरकरार है। इसके लिए एक बार फिर जारी से चेतावनी जारी हुई है। इंजीनियरिंग विभाग ने इस पर आपत्ति जताई है।

By Prateek KumarEdited By: Published: Mon, 23 Sep 2019 10:13 AM (IST)Updated: Mon, 23 Sep 2019 10:13 AM (IST)
चाय बनाने की मशीन ला सकती है AIIMS में तबाही, विभाग ने जारी की चेतावनी
चाय बनाने की मशीन ला सकती है AIIMS में तबाही, विभाग ने जारी की चेतावनी

नई दिल्ली, जेएनएन। AIIMS Fire: एम्स के शैक्षणिक ब्लॉक में आग लगने की घटना के बाद संस्थान के इंजीनियरिंग विभाग ने एक बार फिर चेतावनी जारी की है। इससे स्पष्ट है कि संस्थान में आग का खतरा अब भी बरकरार है। संस्थान में कई प्रमुख जगह व स्टोर संवेदनशील बने हुए हैं, जहां आग लगने की स्थिति में लोगों का निकलना भी मुश्किल हो जाएगा। खास बात यह है कि एम्स में क्वाइल युक्त हीटर का इस्तेमाल प्रतिबंधित है, फिर भी चाय बनाने के लिए इसका इस्तेमाल हो रहा है। इंजीनियरिंग विभाग ने इस पर आपत्ति जताई है।

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इस साल हो चुकी हैं दो बड़ी घटनाएं

एम्स में आग लगने की इस साल दो बड़ी घटनाएं हो चुकी हैं। मार्च में एम्स ट्रॉमा सेंटर के स्टोर में आग लगी थी, इसमें ऑपरेशन थियेटर जल गए थे। इस घटना के बाद अप्रैल में इंजीनियरिंग विभाग ने दिशा निर्देश जारी कर कुछ खामियों को चिह्न्ति किया था।

बचाव के कदम उठाने लिए निर्देश

इसके बाद आग की घटनाओं से बचाव के लिए आवश्यक कदम उठाने के लिए कहा था। फिर भी कोई कदम नहीं उठाया गया। इंजीनियरिंग विभाग ने भी सिर्फ दिशा-निर्देश जारी कर अपनी जिम्मेदारी पूरी कर ली। स्थिति यह है कि आग की घटना से बचाव के लिए लगे उपकरणों का निरीक्षण कर यह भी पता लगाने की कोशिश नहीं की गई कि फायर उपकरण काम कर भी रहे हैं या नहीं।

इलेक्टिकल सेफ्टी के लिए निर्देश

बहरहाल, 17 सितंबर को दोबारा दिशा-निर्देश जारी कर इंजीनियरिंग विभाग ने एक बार फिर यह बात दोहराई है कि सभी फायर उपकरण चालू हालत में होने चाहिए। इसके अलावा इलेक्टिकल सेफ्टी के लिए सभी विभागों व लैब में नोडल अधिकारी नियुक्त करने का निर्देश दिया गया है। लैब में बायो मेडिकल उपकरणों के लिए पर्याप्त वेंटिलेशन की सुविधा सुनिश्चित करने के लिए भी कहा गया है।

यह एरिया है संवेदनशील

कई विभागों के कॉरिडोर, ऑपरेशन थियेटर वार्ड व लैब के कॉरिडोर में सामान, अलमारी इत्यादि है। इस वजह से कॉरिडोर में रास्ता साफ नहीं है। पहली मंजिल पर स्थित ओल्ड ऑपरेशन थियेटर, न्यू प्राइवेट वार्ड, कार्डियक न्यूरो सेंटर के स्टोर कॉरिडोर सहित कई ऐसी जगहों को चिह्न्ति किया गया है, जो आग की घटना के लिए संवेदनशील हैं।

यहां लग सकती है आग

सर्जिकल स्टोर, मुख्य अस्पताल के मेडिकल स्टोर, सीएन सेंटर के भूमिगत स्टोर व रिकॉर्ड रूम में ऐसी वस्तुएं हैं, जहां आग लग सकती है। फिर भी मेडिकल व सर्जिकल स्टोर में इमरजेंसी गेट बंद हैं। ऐसी स्थिति में आग लगने की घटना होने पर निकल पाना मुश्किल होगा। इंजीनियरिंग विभाग ने कहा है कि हीटर के इस्तेमाल पर रोक के बावजूद भी ड्यूटी रूम में इसका इस्तेमाल हो रहा है।

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