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DU Open Book Exam 2021: आफलाइन के मुकाबले ओबीई में 99 फीसद छात्रों की उपस्थिति

डीयू कार्यवाहक कुलपति प्रो पीसी जोशी ने बताया कि ओपन बुक परीक्षा को लेकर हम काफी आशंकित थे। क्यों कि परीक्षा शुरू होने से पहले डीयू को बड़ी संख्या में पत्र मिल रहे थे कि छात्र कोरोना की दूसरी लहर के कारण परीक्षा देने की स्थिति में नहीं है।

By Mangal YadavEdited By: Published: Sun, 13 Jun 2021 10:55 AM (IST)Updated: Sun, 13 Jun 2021 10:55 AM (IST)
आफलाइन के मुकाबले ओबीई में 99 फीसद छात्रों की उपस्थिति

नई दिल्ली [संजीव कुमार मिश्र]। कोरोना की दूसरी लहर से सर्वाधिक प्रभावित उच्च शिक्षण संस्थानों में डीयू शामिल है। ऐसे में कोरोना काल में डीयू के सामने अंतिम वर्ष के छात्रों की परीक्षा सबसे बड़ी चुनौती थी। डीयू ने अंतिम वर्ष के छात्रों की ओपन बुक परीक्षा आयोजित करने का निर्णय लिया तो ना केवल छात्र संगठनों बल्कि शिक्षकों के एक बड़े तबके ने विरोध किया। तर्क यह दिया गया कि छात्र परीक्षा देने की स्थिति में नहीं हैं। हालांकि परीक्षा शुरू होने के शुरुआती पांच दिनों के आंकड़े उत्साहजनक है। आंकड़ों पर नजर डालें तो पता चलता है कि 99 फीसद तक छात्रों की उपस्थिति रही है।

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डीयू कार्यवाहक कुलपति प्रो पीसी जोशी ने बताया कि ओपन बुक परीक्षा को लेकर हम काफी आशंकित थे। क्यों कि परीक्षा शुरू होने से पहले डीयू को बड़ी संख्या में पत्र मिल रहे थे कि छात्र कोरोना की दूसरी लहर के कारण परीक्षा देने की स्थिति में नहीं है। लेकिन परीक्षा में छात्रों की उपस्थिति उत्साहित करने वाली हैं। सात जून यानी सोमवार को आयोजित होने वाली परीक्षा में कुल 33302 छात्र नामांकित थे जिसमें से 32978 छात्रों ने परीक्षा में हिस्सा लिया।

यह आंकड़ा लगभग 99 फीसद था। इसी तरह मंगलवार को 15374 छात्र नामांकित थे जिसमें से 14760 छात्र शामिल हुए। छात्रों की उपस्थिति 96 फीसद रही। यह संख्या फिजिकल मोड में आयोजित होने वाली परीक्षा की अपेक्षा अधिक है।

आफलाइन परीक्षा में 87 फीसद उपस्थिति

कार्यवाहक कुलपति ने बताया कि 2019 में हुई आफलाइन परीक्षाओं में छात्रों की उपस्थिति 87 फीसद थी। इसके मुकाबले ओपन बुक परीक्षाओं में उपस्थिति बेहतर हैं। नियमित ही नहीं स्कूल आफ ओपन लर्निंग में भी छात्रों की उपस्थिति उम्मीद से अधिक है। एसओएल के एक अधिकारी ने बताया कि जब आफलाइन परीक्षा परीक्षा होती थी तो 20 से 25 फीसद छात्र परीक्षा में नहीं बैठते थे लेकिन अब ऐसा नहीं है। छात्र घर से परीक्षा दे सकते हैं, इसलिए छात्रों की उपस्थिति भी बढ़ी है।


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