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ताहिर व उससे जुड़े आरोपितों के 6 ठिकानों पर ईडी की छापेमारी

उत्तर-पूर्वी दिल्ली में हुए दंगों के मास्टर माइंड आप के निलंबित निगम पार्षद ताहिर हुसैन और उससे जुड़े कुछ अन्य लोगों के दिल्ली व नोएडा स्थित ठिकानों पर प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की टीम ने छापेमारी की है।

By JagranEdited By: Published: Wed, 24 Jun 2020 01:28 AM (IST)Updated: Wed, 24 Jun 2020 01:28 AM (IST)
ताहिर व उससे जुड़े आरोपितों के 6 ठिकानों पर ईडी की छापेमारी
ताहिर व उससे जुड़े आरोपितों के 6 ठिकानों पर ईडी की छापेमारी

जागरण संवाददाता, नई दिल्ली : उत्तर-पूर्वी दिल्ली में हुए दंगों के मास्टर माइंड आप के निलंबित निगम पार्षद ताहिर हुसैन और उससे जुड़े कुछ अन्य लोगों के दिल्ली व नोएडा स्थित ठिकानों पर प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की टीम ने छापेमारी की है। दिल्ली में चार और नोएडा में दो स्थानों पर करीब 15 घंटे तक कार्रवाई चली। छापेमारी में ईडी ने ताहिर व उससे जुड़े लोगों के कई अहम दस्तावेज हासिल किए हैं। कई बैंक खाते की जानकारी मिली।

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दंगों की जांच के दौरान दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच को जानकारी मिली थी कि ताहिर को कई संगठनों से दंगाइयों को बांटने के लिए मोटी रकम मिली थी। इससे करीब डेढ़ महीने पहले ही ईडी ने ताहिर व अन्य के खिलाफ मनी लांड्रिग के तहत केस दर्ज किया था। आरोप है कि ताहिर ने फर्जी कंपनियों के जरिये करीब एक करोड़ 16 लाख रुपये सीएए विरोधी प्रदर्शनों और दंगों के लिए वितरित किए गए थे।

यही नहीं जांच में ताहिर हुसैन और उसके कई सहयोगियों को भी दिल्ली में सांप्रदायिक हिसा भड़काने की गहरी साजिश में शामिल पाया गया था। अब ईडी की कार्रवाई को इसी कड़ी से जोड़कर देखा जा रहा है। इसके साथ ही दंगे के दौरान उस पर आइबी अफसर अंकित शर्मा की हत्या करने का भी आरोप है। ताहिर हुसैन कई महीने से जेल में बंद है। क्राइम ब्रांच ताहिर हुसैन पर इंटेलिजेंस ब्यूरो (आइबी) के सिपाही अंकित शर्मा की हत्या की साजिश रचने समेत दिल्ली दंगों में शामिल होने का भी आरोप है। दंगो के दो मामले में अब तक ताहिर को आरोपित बनाया गया है।

सूत्रों के मुताबिक क्राइम ब्रांच पहले ही ताहिर और उससे जुड़े लोगों के बैंक खातों आदि के बारे में जानकारी दे चुकी है। छापेमारी में मिले दस्तावेजों से भी ईडी अब अपनी जांच और आगे बढ़ाएगी। ईडी ताहिर का राजधानी पब्लिक स्कूल के मालिक फैसल फारूख के कनेक्शन की भी जांच कर रही है। वह भी ताहिर के साथ साजिश रचने में शामिल था और दंगे से एक दिन पहले देवबंद जाकर दंगाइयों को बुलाकर लाया था। ईडी यह पता लगा रही है कि ताहिर को दंगे के लिए कहां-कहां से पैसा आया था।

उत्तर प्रदेश के अमरोहा निवासी ताहिर दो दशक पहले मजदूरी करने दिल्ली आया था। तब से दिल्ली के करावल नगर में ही परिवार के साथ रह रहा है। उसने खूब तरक्की की और अभी वह कई फैक्ट्री का मालिक है। आर्थिक स्थिति ठीक होने पर अमरोहा से उसके पिता कल्लन सैफी भी परिवार के साथ दिल्ली में बेटे के पास पहुंच गए थे। ताहिर हुसैन का भाई गांव में स्कूल चलाता है। ताहिर 2017 में पहली बार चुनाव लड़ा था और आम आदमी पार्टी से पार्षद चुना गया।


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