उद्यमी पाठ्यक्रम शुरू करना सराहनीय कदम : डॉ. अशोक गांगुली
जागरण संवाददाता, नई दिल्ली : देश के जाने माने शिक्षाविद एवं केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीए
जागरण संवाददाता, नई दिल्ली : देश के जाने माने शिक्षाविद एवं केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) के पूर्व अध्यक्ष डॉ. अशोक गांगुली ने दैनिक जागरण से बातचीत में दिल्ली सरकार की ओर से 9वीं से 12वीं कक्षा के छात्रों के लिए एंटरप्रन्योरशिप करिकुलम (उद्यमिता पाठ्यक्रम) शुरू करने के प्रयास की तारीफ की है। उन्होंने कहा कि यह शिक्षा के क्षेत्र में बेहतरीन कदम है।
उन्होंने कहा की 14 से 15 साल की उम्र बच्चों की जिंदगी में एक रचनात्मक कार्यकाल होता है। इसी में अगर उन्हें उद्यमी बनने के गुर सिखाए जाएं तो वह तेजी से इसकी ओर प्रेरित होंगे और नौकरी पाने वाले नहीं, बल्कि नौकरी देने वाले बन सकेंगे। हमारे समाज में आज इसी पहल की जरूरत है।
उन्होंने कहा, 'मैं दिल्ली सरकार के हैपिनेस करिकुलम की भी सराहना करता हूं कि उन्होंने बच्चों के लिए खुशी का एक पाठ्यक्रम ही शुरू कर दिया है। इसका बच्चों को काफी फायदा हो रहा है। गणित एंवं विज्ञान जैसे विषयों में खुशी के पाठ्यक्रम से बच्चों को काफी फायदा होगा। इसे भी और बेहतरीन बनाने की जरूरत है।' ये सुझाव दिया
उन्होंने कहा, 'साल 2002 में मैंने 11वीं व 12वीं के छात्रों के लिए एंटरप्रन्योरशिप पर एक सब्जेक्ट की शुरुआत की थी, लेकिन मैं इसे 9वीं एवं 10वीं कक्षा के लिए शुरू नहीं कर पाया। दिल्ली सरकार का यह कदम अच्छा है। मुझे लगता है कि इसमें बस यह सोचने की जरूरत है कि वह 9वीं एवं 10वीं कक्षा में उद्यमी पाठ्यक्रम को कैसे शुरू करेंगे, क्योंकि इन कक्षाओं में कुल छह विषय होते हैं। इनमें तीन भाषाएं एवं तीन विषय - गणित, विज्ञान व सामाजिक विज्ञान होता है। मुझे लगता है कि इस उद्यमिता पाठ्यक्रम को किसी एक विषय के साथ संबद्ध करने की जरूरत है।'