स्पॉट फिक्सिंग: चार और खिलाड़ियों की भूमिका संदिग्ध
आइपीएल स्पॉट फिक्िसग मामले में गिरफ्तार श्रीसंत का 'बेस्ट फ्रैंड ग्रुप' अय्याशी के लिए मशहूर था। इस ग्रुप में श्रीसंत समेत आठ लोग शामिल थे जिसमें एक विदेशी समेत छह आइपीएल खिलाड़ी थे। स्पॉट फिक्सिंग मामले में सरकारी गवाह बने राजस्थान रॉयल्स के खिलाड़ी सिद्धार्थ त्रिवेदी ने पांच घंटे तक चली पुलिस पूछताछ मे
नई दिल्ली, प्रदीप कुमार सिंह। आइपीएल स्पॉट फिक्िसग मामले में गिरफ्तार श्रीसंत का 'बेस्ट फ्रैंड ग्रुप' अय्याशी के लिए मशहूर था। इस ग्रुप में श्रीसंत समेत आठ लोग शामिल थे जिसमें एक विदेशी समेत छह आइपीएल खिलाड़ी थे। स्पॉट फिक्सिंग मामले में सरकारी गवाह बने राजस्थान रॉयल्स के खिलाड़ी सिद्धार्थ त्रिवेदी ने पांच घंटे तक चली पुलिस पूछताछ में यह खुलासा किया है। स्पेशल सेल के अधिकारियों के अनुसार, इस ग्रुप में शामिल श्रीसंत, अंकित चव्हाण, जीजू जनार्दन एवं अभिषेक शुक्ला पकड़े जा चुके हैं। जबकि अन्य खिलाड़ियों की भूमिका की जांच की जा रही है।
अधिकारियों के मुताबिक, सिद्धार्थ त्रिवेदी ने बताया कि श्रीसंत का 'बेस्ट फ्रेंड ग्रुप' आए दिन पार्टियां आयोजित करता था। इन पार्टियों में शराब और शबाब दोनों का प्रबंध होता था। पांच सितारा होटल तथा फार्म हाउसों में आयोजित होने वाली इन पार्टियों में सट्टा माफिया भी शामिल होते थे। पूछताछ में चार अन्य खिलाड़ियों के नाम सामने आए है जिसका खुलासा पुलिस नहीं कर रही है। पुलिस इसको लेकर मैच की फुटेज खंगाल रही है। सबूत हाथ लगते ही इन खिलाड़ियों को पुलिस तलब कर सकती है। सिद्धार्थ को स्पॉट फिक्सिंग के लिए 2011 में एक लाख रुपये देने वाले की तलाश में पुलिस ने कई जगह छापेमारी की है। पुलिस को सिद्धार्थ ने बताया कि कुछ खिलाड़ियों का स्पॉट फिक्सिंग को लेकर स्टिंग ऑपरेशन भी हुआ था। इसकी जानकारी होने पर वह बुरी तरह घबरा गया था। उसने तय कर लिया था कि वह मैच के दौरान ऐसी कोई हरकत नहीं करेगा जिससे उसे टीम से बाहर का रास्ता दिखा दिया जाए। इसलिए उसने अजीत चंदीला को ढाई लाख के बदले साढ़े चार लाख रुपये वापस कर दिए थे।
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