IND vs PAK: भारत और पाक के बीच मैदान में कम हो रहा है प्रतिद्वंद्विता का रोमांच
टीम इंडिया ने अपने रुतबे को इतना बड़ा कर लिया है कि क्रिकेट के मैदान में उसके सामने हर टीम बौनी नजर आ रही है। वहीं पाक की टीम का कमजोर होना भी इस रोचकता को खत्म कर रहा है।
अभिषेक त्रिपाठी, मैनचेस्टर। एक दौर था जब भारत और पाकिस्तान के बीच क्रिकेट के मैदान में रोंगटे खड़े कर देने वाली भिड़ंत देखने को मिलती थी। मैच की आखिरी गेंद तक पता नहीं चलता था कि कौन सी टीम बाजी मारेगी लेकिन समय के साथ वह दौर और वह प्रतिद्वंद्विता खत्म होती जा रही है। क्रिकेट के जानकार इसे दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय सीरीज नहीं होना बता रहे हैं लेकिन एक बड़ी सच्चाई यह भी है कि टीम इंडिया ने अपने रुतबे को इतना बड़ा कर लिया है कि क्रिकेट के मैदान में उसके सामने हर टीम बौनी नजर आ रही है। वहीं, पाकिस्तान की टीम का कमजोर होना भी इस रोचकता को खत्म कर रहा है।
पाकिस्तानी प्रशंसकों में निराशा
हमेशा की तरह इस बार भी जब विश्व कप में भारत-पाक की टीमें मैनचेस्टर में भिड़ने पहुंची थीं तो दोनों देशों के प्रशंसक पूरे उत्साह के साथ टीमों का समर्थन करने पहुंचे लेकिन एकबार फिर पाकिस्तान को निराशा हाथ लगी। एकतरफा मुकाबले में भारत 89 रनों से जीता और पाकिस्तानी समर्थक एकबार फिर अपनी टीम को बुरा-भला कहते हुए वापस लौटे। एक प्रशंसक ने तो यहां तक कह दिया कि पाकिस्तान की क्रिकेट टीम को खाने- पीने से फुरसत नहीं है और वह अपनी फिटनेस का ध्यान नहीं रखते हैं। ऐसे में अब पाकिस्तानी खिलाड़ियों को क्रिकेट छोड़कर कुश्ती लड़नी चाहिए। उधर, पाकिस्तानी मीडिया भी अपनी टीम की हार से मायूस है और भारत के खिलाफ हार की वजह कप्तान सरफराज अहमद के साथ कई खिलाड़ियों के झगड़े को बता रही है।
लड़कर हारती थी इमरान-अकरम की टीम
एक समय था जब इमरान खान और वसीम अकरम की अगुआई वाली टीम में खेलने वाले सभी खिलाड़ियों के बारे में भारतीय प्रशंसकों तक को भी पता होता था लेकिन आज सरफराज अहमद की पूरी टीम के बारे में शायद ही भारतीय प्रशंसक जानते हों। द्विपक्षीय सीरीज नहीं खेलने के बावजूद आइसीसी टूर्नामेंट के पिछले छह वनडे में से पांच बार भारत ने पाक को हराया है। इसमें सिर्फ 2017 चैंपियंस ट्रॉफी फाइनल में ओवल में भारत को हार मिली थी। हालांकि हाल के वर्षों में भारत और पाकिस्तान के बीच खेले गए मुकाबले एकतरफा ही रहे हैं लेकिन वह दौर भी था जब दोनों देशों के बीच आखिरी गेंद पर फैसले होते थे। 2007 के टी-20 विश्व कप के ग्रुप चरण में टाई होने के बाद मुकाबले का फैसला बॉल आउट के जरिये हुआ था जहां भारत ने बाजी मारी थी। वहीं, खिताबी मुकाबले का रोमांच आखिरी ओवर तक चला था जहां भारत चैंपियन बना था। 2011 विश्व कप का सेमीफाइनल मुकाबला भी पाकिस्तान ने लड़कर गंवाया था लेकिन 2015 और अब 2019 के नतीजे एकतरफा रहे। चार साल पहले विश्व कप में भारत 76 रनों से जीता था।
लोकसभा चुनाव और क्रिकेट से संबंधित अपडेट पाने के लिए डाउनलोड करें जागरण एप