इस वजह से 2020 के पहले दिल्ली में नहीं होगा अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट मैच !
प्रदूषण नहीं इस वजह से दिल्ली में 2020 तक नहीं होगा मैच।
नई दिल्ली, प्रेट्र। भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआइ) की रोटेशन नीति वह काम कर सकती है जो शायद श्रीलंकाई टीम की प्रदूषित हवा की शिकायतें नहीं कर सकीं और वह है कम से कम 2020 तक दिल्ली से अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट को दूर रखना। श्रीलंकाई खिलाडिय़ों ने यहां भारत के खिलाफ चल रहे मौजूदा तीसरे व अंतिम टेस्ट में धुंध के कारण सांस लेने में समस्या की शिकायत की थी, जिससे वे मास्क पहनकर मैदान पर उतरे थे और इससे दिल्ली पर अंतरराष्ट्रीय खेल स्थल के रूप में सवाल उठने लगे।
बीसीसीआइ के एक सीनियर अधिकारी ने कहा, 'बीसीसीआइ प्रत्येक वर्ष फरवरी-मार्च तक विशेष घरेलू सत्र के लिए कोशिश कर रहा है। उन्हें यह समय नए भविष्य दौरा कार्यक्रम के अनुसार फरवरी-मार्च 2020 में ही मिलेगा। इसलिए फिरोजशाह कोटला 2020 से पहले टेस्ट मैच के आयोजन के लिए पंक्ति में शामिल हो सकता है या नहीं भी। रोटेशन नीति के अनुसार, कोटला को अब अपना टेस्ट मैच मिल गया है और नवंबर में इसे एक टी-20 मिल गया था। उसका मौका अगले साल तक नहीं आएगा, क्योंकि भारत के लिए शायद तब एक पूर्ण सीरीज होगी। अन्य स्थल भी अपने मौके का इंतजार कर रहे हैं। इसी तरह 2019 में, जब नया भविष्य दौरा कार्यक्रम शुरू होगा तो कोटला को दूसरा मैच मिलने में कुछ समय लगेगा।
श्रीलंका की शिकायत के अलावा पिछले महीने दिल्ली हाफ मैराथन के दौरान भी हंगामा हुआ था। हालांकि, प्रदूषण के उच्च स्तर के बावजूद यह आयोजित हुई, पर भारतीय चिकित्सीय संघ ने इसे रद करने की अपील की थी। मौजूदा टेस्ट मैच के दूसरे दिन का खेल 26 मिनट के लिए रोका गया था, क्योंकि श्रीलंकाई खिलाडिय़ों ने सांस लेने में तकलीफ की शिकायत की थी, जिससे भारतीय कप्तान विराट कोहली को सात विकेट पर 536 रन पर पारी घोषित करने के लिए बाध्य होना पड़ा।
हालांकि, भारतीय टीम के तेज गेंदबाज मुहम्मद शमी ने कहा कि वे इस तरह के मौसम के आदी हैं और इसे बड़ा मुद्दा नहीं बनाना चाहते। बीसीसीआइ के कार्यवाहक सचिव अमिताभ चौधरी ने सोमवार को प्रेस कांफ्रेंस में स्वीकार किया था कि साल के इस समय नई दिल्ली में टेस्ट मैच के आयोजन पर चर्चा की जाएगी। हालांकि, बीसीसीआइ के एक अन्य अधिकारी ने कहा कि अभी कोटला को अपने कोटे के मैच मिल गए हैं जिसे बोर्ड अभी थोड़े समय तक राहत महसूस करेगा। अधिकारी ने कहा, 'अब 2020 में पर्यावरण के हालात कैसे होंगे, उसकी भविष्यवाणी अभी 2017 में नहीं की जा सकती है। इसलिए अगर कोटला को अगर मैच नहीं मिलता है तो यह पूरी तरह से रोटेशन नीति के अनुसार ही होगा।