बिन्नी के तूफान में उड़ा बांग्लादेश, भारत 47 रन से जीता
मध्यम गति के गेंदबाज स्टुअर्ट बिन्नी ने करिश्माई प्रदर्शन करते हुए केवल चार रन देकर छह विकेट झटके, जिसकी मदद से भारत ने मंगलवार को बांग्लादेश के खिलाफ दूसरे वनडे में 105 रन के लक्ष्य का बचाव करते हुए 47 रन से ऐतिहासिक जीत दर्ज की। इस जीत के साथ टीम इंडिया ने तीन वनडे मैचों की सीरीज में 2-0 की अजेय बढ़त भी बना ली।
मीरपुर। मध्यम गति के गेंदबाज स्टुअर्ट बिन्नी ने करिश्माई प्रदर्शन करते हुए केवल चार रन देकर छह विकेट झटके, जिसकी मदद से भारत ने मंगलवार को बांग्लादेश के खिलाफ दूसरे वनडे में 105 रन के लक्ष्य का बचाव करते हुए 47 रन से ऐतिहासिक जीत दर्ज की। इस जीत के साथ टीम इंडिया ने तीन वनडे मैचों की सीरीज में 2-0 की अजेय बढ़त भी बना ली।
दो दिन पहले बांग्लादेश ने इसी मैदान पर 272 रन का स्कोर बनाया था, लेकिन उनके कप्तान ने अंत में यह महसूस किया कि उनकी टीम ने कुछ रन कम बनाए। मंगलवार को उसी मैदान पर भारतीय टीम 105 पर सिमट गई, लेकिन आश्चर्यजनक रूप से यह स्कोर मैच बचाने के लिए काफी रहा। बांग्लादेश की तरफ से पदार्पण कर रहे युवा तेज गेंदबाज तसकीन अहमद ने 28 रन देकर पांच विकेट झटकते हुए दुनिया का ध्यान अपनी तरफ खींचा, लेकिन मैच समाप्त होते-होते उनका यह यादगार प्रदर्शन बिन्नी की गेंदबाजी के आगे फीका पड़ गया।
पारी की शुरुआत से ही मोहित शर्मा (4/22) ने विकेट लेने का जो सिलसिला जारी किया उसे बिन्नी ने आगे बढ़ाया और दोनों ने मिलकर महज 17.4 ओवर में बांग्लादेश की टीम को भारत के खिलाफ उसके न्यूनतम स्कोर 58 रन पर समेट दिया।
वनडे क्रिकेट के इस बेहद ही विचित्र मैच को बारिश के खलल के बाद 41 ओवर की पारी का कर दिया गया था, लेकिन दोनों ही टीमों ने मिलकर मैच में कुल 43.1 ओवर ही क्रीज पर गुजारे। भारतीय टीम की तरफ से कप्तान सुरेश रैना ने सर्वाधिक 27 बनाए। उनके अलावा रॉबिन उथप्पा (14), चेतेश्वर पुजारा (11), उमेश यादव (17) ही दोहरे अंक में पहुंच सके। वहीं बांग्लादेश की तरफ से मिथुन अली (26) और कप्तान मुशफिकुर रहीम (11) ही दो अंकों को छू सके। भारतीय कप्तान रैना ने केवल तीन गेंदबाजों का इस्तेमाल किया। तीसरे गेंदबाज उमेश यादव ने अपने पांच ओवर में 32 रन दिए, लेकिन एक भी विकेट नहीं निकाल सके।
पदार्पण वनडे में कप्तान धौनी द्वारा केवल एक ओवर पाने वाले बिन्नी ने अपने तीसरे वनडे में ही भारत की तरफ से सर्वश्रेष्ठ गेंदबाजी का रिकॉर्ड अपने नाम कर लिया। उनसे पहले यह रिकॉर्ड अनिल कुंबले (6/12) के नाम था, जो उन्होंने 1993 में वेस्टइंडीज के खिलाफ बनाया था।