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Ind vs Aus: 'बुमराह की गेंदबाजी को सबसे घातक बनाता है उनका ये खास अंदाज़'

Ind vs Aus: बुमराह ने यहां ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ तीसरे टेस्ट में अभी तक आठ विकेट झटक लिए हैं और जनवरी में खेल के इस प्रारूप में पदार्पण के बाद उन्होंने 47 टेस्ट विकेट अपने नाम कर लिए हैं।

By Pradeep SehgalEdited By: Published: Sat, 29 Dec 2018 05:31 PM (IST)Updated: Sat, 29 Dec 2018 10:44 PM (IST)
Ind vs Aus: 'बुमराह की गेंदबाजी को सबसे घातक बनाता है उनका ये खास अंदाज़'
Ind vs Aus: 'बुमराह की गेंदबाजी को सबसे घातक बनाता है उनका ये खास अंदाज़'

मेलबर्न, जेएनएन। भारत के गेंदबाजी कोच भरत अरूण ने शनिवार को कहा कि जसप्रीत बुमराह के अपरंपरागत गेंदबाजी एक्शन ने उन्हें विश्व क्रिकेट के सबसे खतरनाक तेज गेंदबाजों में से एक बना दिया है क्योंकि विपक्षी टीम के बल्लेबाज के लिए उनकी गेंदों को समझना काफी मुश्किल हो जाता है।

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बुमराह ने यहां ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ तीसरे टेस्ट में अभी तक आठ विकेट झटक लिए हैं और जनवरी में खेल के इस प्रारूप में पदार्पण के बाद उन्होंने 47 टेस्ट विकेट अपने नाम कर लिए हैं।

अरूण ने कहा, ‘बुमराह अपने अलग से गेंदबाजी एक्शन की वजह से काफी विशेष बन गया है। शायद बल्लेबाज उसकी गेंदों को थोड़ी देर से पकड़ पाते हैं जिससे वह काफी कारगर बन जाता है। निश्चित रूप से किसी भी तेज गेंदबाज को लगातार 145 किमी प्रति घंटे से या इससे ज्यादा की रफ्तार से गेंदबाजी करने के लिए हाथों से काफी तेज से गेंद निकालनी पड़ती है। ’

उन्होंने चौथे दिन का खेल समाप्त होने के बाद प्रेस कांफ्रेंस में कहा, ‘बुमराह अपने गेंदबाजी एक्शन की वजह से टेस्ट में शुरूआत करने से पहले ही काफी अच्छा कर रहा था, हमें उस पर पूरा भरोसा था और उसकी गेंदों का सामना करने वाले ज्यादातर बल्लेबाजों ने कहा कि उसकी गेंदें समझना काफी मुश्किल था।’

ऑस्ट्रेलियाई टीम दूसरी पारी में आठ विकेट गंवाकर 258 रन बनाकर जूझ रही है और शनिवार को चौथे दिन भारतीय तेज गेंदबाजों ने पांच विकेट साझा किए। भारत को चार मैचों की टेस्ट सीरीज में 2-1 की अजेय बढ़त बनाने के लिए रविवार को दो विकेट की दरकार है।

अरूण ने कहा कि कोचिंग स्टाफ को 25 वर्षीय बुमराह को मजबूत बनाए रखने के लिए काफी काम करना पड़ता है क्योंकि उसके गेंदबाजी एक्शन उसके शरीर पर काफी बोझ पड़ता है।

उन्होंने कहा, ‘मुझे बुमराह के साथ तब काम करने का मौका मिला जब वह अंडर-19 स्तर पर खेलता था, तब मैं एनसीए में था। मुझे लगा कि बुमराह अपने एक्शन से काफी तेज गेंदबाजी कर सकता है लेकिन इससे उसके शरीर पर असर पड़ता है। यह चुनौती थी और हमने इसके लिए फिजियो व ट्रेनर से चर्चा की थी। इसके बाद हमें लगा कि हमें उसे मजबूत बनाए रखने के लिए उस पर काम करना होगा।’

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