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Dean Jones ने चेन्नई की भीषण गर्मी में ठोका था दोहरा शतक, मैच के बाद हो गई थी हालत खराब

पूर्व ऑस्ट्रेलियाई क्रिकेटर डीन जोन्स का गुरुवार 24 सितंबर को मुंबई में निधन हो गया। दिल का दौरा पड़ने की वजह से उनकी मौत हो गई। जोन्स मुंबई में स्टार स्पोर्ट्स के लिए आइपीएल में कमेंट्री कर रहे थे।

By Vikash GaurEdited By: Published: Thu, 24 Sep 2020 08:23 PM (IST)Updated: Thu, 24 Sep 2020 08:23 PM (IST)
Dean Jones ने चेन्नई की भीषण गर्मी में ठोका था दोहरा शतक, मैच के बाद हो गई थी हालत खराब
डीन जोन्स का गुरुवार 24 सितंबर को निधन हो गया। (AP/PTI Image)

नई दिल्ली, जागरण न्यूज नेटवर्क। अपने दौर में वनडे क्रिकेट के बेहतरीन विस्फोटक बल्लेबाजों में से एक पूर्व ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाज डीन जोंस का गुरुवार को दिल का दौरा पड़ने से मुंबई में निधन हो गया। 59 साल के जोंस आइपीएल के लिए स्टार स्पो‌र्ट्स की कमेंट्री टीम का हिस्सा थे और मुंबई में थे। जोंस शहर के एक होटल में बायो-बबल (खिलाड़ियों को खेलने के लिए बनाए गए नियमों के तहत सुरक्षित माहौल) में थे। उनके परिवार में पत्नी और दो बेटियां हैं। जोंस ने ऑस्ट्रेलिया के लिए 52 टेस्ट मैच और 164 वनडे मैच खेले एवं वह 1987 में विश्व कप जीतने वाली ऑस्ट्रेलियाई टीम का हिस्सा थे।

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चेन्नई में खेली थी यादगार पारी

डीन जोंस को सितंबर 1986 में चेन्नई (तब मद्रास) में भारत के खिलाफ खेली गई 210 रनों की पारी के लिए खासतौर पर याद किया जाता है। जोंस अपने टेस्ट करियर के तीसरे मैच के बाद टीम में वापसी कर रहे थे और इससे पहले उनके खाते में 48, 5, 1, 11 रनों की पारियां थीं। कप्तान एलन बॉर्डर ने मद्रास में टॉस जीता और बल्लेबाजी चुनी। पहले दिन का खेल खत्म होने पर जोंस 56 पर नाबाद थे और उनके साथ थे नाइटवॉचमैन रे ब्राइट।

दूसरा दिन बिल्कुल अलग था। गर्मी और उमस के बीच जोंस ने अपना पहला टेस्ट शतक पूरा किया और फिर बॉर्डर के साथ मिलकर अपनी टीम को बड़े स्कोर की ओर से गए। गर्मी और उमस ने हालांकि उनकी हालत खराब कर दी थी। उनके शरीर में पहले हाथ, फिर पैर, फिर पीठ में क्रैंप उठने लगे। तापमान 40 डिग्री के करीब था और आद्रता 80 फीसद से अधिक थी। माहौल खेल के लायक बिल्कुल नहीं था।

जोंस ने एक बार कहा था कि उन्होंने अपने अंतिम 100 रन सिर्फ 66 गेंदों पर बनाए थे। शरीर से सारा पानी निचुड़ रहा था और ताकत खत्म होती जा रही थी। ऐसे में ऊर्जा बचाए रखने के लिए एक जगह खड़े होकर ही रन बनाना समझदारी थी। जोंस ने कहा था कि 170 रनों तक उनका शरीर पूरी तरह जवाब देने लगा था और उन्हें उल्टियां शुरू हो गई थीं। 210 रनों पर जब वह आउट हुए तो उन्हे ड्रेसिंग रूम में ले जाकर आइस बाथ दिया गया और फिर अस्पताल ले जाकर ड्रिप लगाई गई।


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