T20 वर्ल्ड कप 2007 के लिए Dhoni की जगह मैं कप्तान बनाए जाने की उम्मीद कर रहा था- युवराज सिंह
टी20 वर्ल्ड कप 2007 में पूर्व भारतीय ऑलराउंडर युवराज सिंह ने कभी नहीं भूलाने वाला प्रदर्शन किया था और फाइनल में भारत ने पाकिस्तान को हराकर खिताब अपने नाम किया था। युवराज सिंह को इस टूर्नामेंट में किए गए प्रदर्शन के लिए प्लेयर ऑफ द सीरीज भी चुना गया था।
नई दिल्ली, जेएनएन। टीम इंडिया के पूर्व कप्तान महेंद्र सिंह धौनी ने अपनी सबसे बड़ी सफलता की शुरुआत साल 2007 में टी20 वर्ल्ड कप जीतने के साथ की थी और लीजेंड बनने की राह की तरफ अपना पहला कदम बढ़ाया था। धौनी ने बतौर भारतीय कप्तान ऐसा बेंचमार्क सेट कर दिया है जिससे आगे जाना काफी मुश्किल लगता है। भारतीय टीम मैनेजमेंट ने डेब्यू टी20 वर्ल्ड कप टूर्नांमेंट के लिए धौनी को टीम का कप्तान बनाने का फैसला किया था और युवराज सिंह को हैरत में डाल दिया था जो उम्मीद कर रहे थे कि, उन्हें टीम का कप्तान बनाया जाएगा।
टी20 वर्ल्ड कप 2007 में पूर्व भारतीय ऑलराउंडर युवराज सिंह ने कभी नहीं भूलाने वाला प्रदर्शन किया था और फाइनल में भारत ने पाकिस्तान को हराकर खिताब अपने नाम किया था। युवराज सिंह को इस टूर्नामेंट में किए गए प्रदर्शन के लिए प्लेयर ऑफ द सीरीज भी चुना गया था। धौनी की कप्तानी में युवराज सिंह ने कमाल का खेल दिखाया था और साबित किया था कि, वो क्या कुछ कर सकते हैं। युवराज सिंह ने कहा कि, इस साल टीम इंडिया 2007 वनडे वर्ल्ड कप में खराब प्रदर्शन की वजह से शुरुआत में ही बाहर हो गई थी।
युवी ने कहा कि, इसके बाद भारतीय क्रिकेट में काफी उथल-पुथल मचा हुआ था और फिर इंग्लैंड का दो महीने का दौरा था। इस बीच में हमें एक महीने के लिए आयरलैंड और साउथ अफ्रीका दौरे पर जाना था। इस दौरे के बाद टी20 वर्ल्ड कप खेला जाना था और हम घर से चार महीने के लिए दूर रहने वाले थे। इस वजह से सीनियर खिलाड़ियों ने सोचा कि, उन्हें ब्रेक की जरूरत है और शायद किसी ने टी20 वर्ल्ड कप को गंभीरता से नहीं लिया था। इसके बाद मैं इस टूर्नामेंट के लिए कप्तान बनाए जाने की उम्मीद कर रहा था और फिर घोषणा हुई कि, एम एस धौनी कप्तान होंगे। युवी ने ये सारी बातें 22 यार्न पोडकास्ट पर कही। उन्होंने कहा कि, कप्तान किसी को भी बनाया गया हो उसके बाद हमारा काम था कि हम पूरी तरह से अपने कप्तान को सपोर्ट करें और टीम के लिए बेहतर प्रदर्शन करें।