विश्व कप नहीं जीत पाने का मलाल : संगकारा
श्रीलंकाई क्रिकेट के महान दूत और अपनी आखिरी सीरीज खेलने की तैयारियों में जुटे कुमार संगकारा ने अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में डेढ़ दशक के अपने करियर को 'शानदार' करार दिया। लेकिन दो बार फाइनल में पहुंचने के बावजूद आइसीसी वनडे विश्व कप नहीं जीत पाने का उन्हें अब भी मलाल है।
गाले। श्रीलंकाई क्रिकेट के महान दूत और अपनी आखिरी सीरीज खेलने की तैयारियों में जुटे कुमार संगकारा ने अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में डेढ़ दशक के अपने करियर को 'शानदार' करार दिया। लेकिन दो बार फाइनल में पहुंचने के बावजूद आइसीसी वनडे विश्व कप नहीं जीत पाने का उन्हें अब भी मलाल है।
क्रिकेट जगत के सबसे कलात्मक बल्लेबाजों में से एक संगकारा ने अपने विदाई संवाददाता सम्मेलन में कहा, 'मैं वनडे विश्व कप जीतना पसंद करता। हमारे पास दो मौके थे, लेकिन हम चूक गए। यदि हम भारत के खिलाफ उसकी सरजमीं पर सीरीज जीत जाते तो यह शानदार होता। इसलिए कुछ चीजें हैं जो हो सकती थीं, लेकिन मेरा मानना है कि खेल इसी तरह से आगे बढ़ता है।' उन्होंने कहा कि इसी तरह विदेशी सरजमीं विशेषकर ऑस्ट्रेलिया में कुछ टेस्ट मैच जीतना अच्छा रहता। मुझे पिछले साल का इंग्लैंड दौरा याद है, जबकि हमने 1-0 से जीत दर्ज की थी। वह मेरा सर्वश्रेष्ठ विदेशी दौरा रहा।
संगकारा से पूछा गया कि वह भारत के खिलाफ सभी तीन टेस्ट मैचों में क्यों नहीं खेल रहे हैं, उन्होंने कहा कि वह इस विषय में देश के क्रिकेट प्रमुखों के साथ पहले ही चर्चा कर चुके हैं। संगकारा विश्व कप 2015 के बाद आगे खेलने के लिए तैयार हो गए थे और तब संन्यास से पहले उनके लिए टेस्ट मैच तय कर दिए गए थे। उन्होंने कहा, 'दो-दो टेस्ट मैच (भारत और पाकिस्तान के खिलाफ) खेलने का कारण पिछली चयन समिति के साथ हुई बातचीत है, जबकि मैं उनसे अपने भविष्य को लेकर बात कर रहा था। हालांकि यह आदर्श नहीं है। मैंने विश्व कप के तुरंत बाद संन्यास की योजना बनाई थी, लेकिन वे चाहते थे कि मैं कुछ और टेस्ट मैच खेलूं। तब मैंने उनके सामने यह पेशकश की थी कि मैं चार टेस्ट मैच खेलना चाहता हूं। उन्होंने मान लिया था। इसलिए यह दो-दो टेस्ट मैचों की व्यवस्था की गई।'
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