टीम इंडिया का शांत बल्लेबाज क्यों बोला, आक्रामक होने पर हो जाएंगे फेल
पाक के साथ मैच के बारे में जाधव ने कहा हम अपने सभी प्रतिद्वंद्वियों के खिलाफ समान जज्बे के साथ खेलते हैं।
लंदन, पीटीआइ। अपने पहले आइसीसी टूर्नामेंट के लिए उत्साहित केदार जाधव इसे लेकर सचेत भी हैं कि इंग्लैंड की परिस्थितियों में पूरी तरह आक्रामक होकर खेलने की रणनीति काम नहीं आएगी।
न्यूजीलैंड के खिलाफ अभ्यास मैच में भले उन्हें बल्लेबाजी का मौका नहीं मिला, लेकिन बाहर बैठकर भी उन्होंने काफी कुछ सीखा। बांग्लादेश के साथ अभ्यास मैच से पहले जाधव ने कहा, 'रविवार को बल्लेबाजों को हर रन के लिए कड़ी मेहनत करनी पड़ी और हालात के लगातार बदलने के कारण वे सहज नहीं हो पा रहे थे।'
बदलते मौसम के बीच भारतीय बल्लेबाजों ने क्रीज पर महत्वपूर्ण समय बिताया जिससे टीम ने आसान जीत दर्ज की। जाधव ने कहा, 'विकेट पर घास थी और मौसम के बदलाव से गेंद स्विंग कर रही थी। अगर ऐसा ही रहा (आगामी मैचों में) तो आप आक्रामक रह सकते हैं, लेकिन तकनीकी तौर पर आपको टेस्ट मैच या रणजी ट्रॉफी की तरह बल्लेबाजी करनी होगी। अच्छी गेंद को छोड़ दीजिए और मौका मिलने पर प्रत्येक गेंद पर रन बनाइए।'
जाधव ने कहा कि हालात से निपटने के लिए उन्होंने अपने खेल में बदलाव किया है। उन्होंने कहा, 'नेट पर मैं जितना संभव हो गेंद को शरीर के करीब खेलने की कोशिश कर रहा हूं।' जाधव ने कहा कि टीम की तैयारी अच्छी है और निजी तौर पर वह अच्छे प्रदर्शन के लिए तैयार हैं।
वीजा मुद्दों के कारण टीम से देर से जुड़ने वाले जाधव ने कहा, 'यह मेरी पहली आइसीसी ट्रॉफी है। इस तरह के टूर्नामेंट में खेलना शानदार अहसास है। अब तक तैयारी संतोषजनक रही है। उम्मीद करता हूं कि मुझे मंगलवार को अभ्यास मैच में बल्लेबाजी का मौका मिलेगा।'
रविवार को पाकिस्तान के खिलाफ भारत के पहले मैच के बारे में पूछने पर जाधव ने कहा, 'मुझे लगता है कि पेशेवर क्रिकेटर के रूप में हम अपनी भावनाओं को शामिल नहीं करते। हम अपने सभी प्रतिद्वंद्वियों के खिलाफ समान जज्बे के साथ खेलते हैं।'