PNB समेत 6 सरकारी बैंकों को मिल सकती है 80 बिलियन रुपये की पूंजी
कुछ बैंकों ने टियर वन कैपिटल बॉन्ड जारी किया था और उनका ब्याज भुगतान लंबित रहा है। लेकिन अगर ये बैंक नियामकीय पूंजी की जरूरत संबंधी नियम को पूरा नहीं करते हैं तो उन्हें भुगतान करने की अनुमति नहीं मिलेगी
नई दिल्ली (बिजनेस डेस्क)। नई दिल्ली (बिजनेस डेस्क)। देश के छह सरकारी बैंकों को 80 बिलियन रुपये की पूंजी (कैपिटल इन्फ्यूजन) प्राप्त हो सकती है। इसमें नीरव मोदी के घोटाले के कारण सबसे ज्यादा प्रभावित हुआ पंजाब नेशनल बैंक (पीएनबी) भी शामिल है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक इन सभी बैंकों में तय नियामकीय मानक से कम पूंजी होने के कारण सरकार यह फैसला ले सकती है।
रिपोर्ट में अधिकारी के हवाले से बताया गया है कि कुछ बैंकों ने टियर वन कैपिटल बॉन्ड जारी किया था और उनका ब्याज भुगतान लंबित रहा है। लेकिन अगर ये बैंक नियामकीय पूंजी की जरूरत संबंधी नियम को पूरा नहीं करते हैं तो उन्हें भुगतान करने की अनुमति नहीं मिलेगी। सरकार हालांकि ऐसे सरकारी बैंकों को डिफॉल्ट होने का जोखिम नहीं उठा सकती क्योंकि यह उनकी रेटिंग को प्रभावित करेगा।
एक अन्य अधिकारी ने नाम न छापने की शर्त पर यह जानकारी दी है कि कुछ बैंकों को भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) को प्रॉम्प्ट करेक्शन एक्शन (पीसीए) के अंतर्गत रखा गया है को भी पूंजी निवेश के इस चरण से लाभ होगा। इक्रा की हालिया रिपोर्ट का हवाला देते हुए एक निजी दैनिक ने रिपोर्ट की है कि करीब 15 सरकारी बैंकों ने वित्त वर्ष 2018 के अपने नतीजे घोषित कर दिए हैं, जिनमें से सिर्फ 5 ने टियर 1 कैपिटल पोजीशन हासिल की है, जो कि 7 फीसद की न्यूनतम निगरानी आवश्यकता के करीब है।