7 टेलिकॉम PSU मिलकर बाजार में देंगे टक्कर, कंपनियों के बेहतर तालमेल पर दिया जाएगा जोर
टेलीकॉम PSU और DoT के अंदर आने वाली संस्थाओं के पास पड़ी खाली जगह, भूमि और भवनों का उपयोग आपस में किया जा सकेगा
नई दिल्ली (बिजनेस डेस्क)। दूरसंचार विभाग (डॉट) ने टेलीकॉम सेक्टर की सात सार्वजनिक कंपनियों और संस्थाओं की कार्यकुशलता और उनमें आपसी सामंजस्य बढ़ाने के लिए गुरुवार को एक रणनीतिक कार्य-योजना पेश की है। इस योजना के दायरे में महानगर टेलीफोन निगम लिमिटेड (एमटीएनएल), भारत संचार निगम लिमिटेड (बीएसएनएल), इंडियन टेलीफोन इंडस्ट्रीज लिमिटेड (आइटीआइएल), सेंटर फॉर डेवलपमेंट ऑफ टेलीमैटिक्स (सीडॉट), टेलीकम्युनिकेशंस कंसल्टेंट्स इंडिया लिमिटेड (टीसीआइएल), टेस्टिंग एंड सर्टिफिकेशन ऑफ टेलीकॉम इक्विपमेंट्स (टीईसी) और भारतनेट (बीबीआइएल) शामिल हैं।
योजना का मकसद सरकारी टेलीकॉम कंपनियों की परिचालन क्षमता बढ़ाना और उनमें आपसी खींचतान से पैदा होने वाली मुश्किलों की संभावनाएं खत्म करना है। इसके तहत इन कंपनियों के परिचालन में बेहतर तालमेल समेत उनके नियंत्रण की भूमि, भवन और मानव संसाधनों का भी सभी कंपनियों के हित में समुचित उपयोग किए जाने पर जोर दिया गया है।
कार्य-योजना पेश करते हुए दूरसंचार मंत्री मनोज सिन्हा ने कहा, ‘इन सभी कंपनियों की भलाई के लिए हमने कुछ खास मुद्दों की पहचान की है। इनमें मानव संसाधन, कानूनी पचड़ों का निष्पादन और खाली पड़ी जगहों का समुचित उपयोग करने जैसे मुद्दे हैं, जिन पर विभाग का एक दल काम करेगा। खुशी की बात यह है कि इन मुद्दों के समाधान के लिए कंपनियों का फोकस पूर्व-निर्धारित समय-सीमा और प्रदर्शन सुधरने के स्पष्ट संकेतों पर है।’
सिन्हा ने यह भी कहा कि अगले छह महीनों में इस रणनीतिक योजना पर उल्लेखनीय प्रदर्शन कर पाना महत्वपूर्ण रहेगा। डॉट एक समीक्षा तंत्र भी विकसित कर रहा है, जिसके जरिए इस योजना पर हो रही प्रगति पर नजर रखी जाएगी।
यह है योजना
इस योजना पर काम जनवरी 2016 से ही चल रहा है। इन कंपनियों में मानव संसाधन के बेहतरीन उपयोग के लिए बीएसएनएल द्वारा वेब-आधारित ऑनलाइन कर्मचारी प्रशिक्षण प्रोग्राम तैयार किया जाएगा। टेलीकॉम पीएसयू और डॉट के अंदर आने वाली संस्थाओं के पास पड़ी खाली जगह, भूमि और भवनों का उपयोग आपस में किया जा सकेगा। सिन्हा के मुताबिक योजना का एक महत्वपूर्ण पहलू यह है कि ये सरकारी कंपनियां विवाद के लिए सीधे अदालत का दरवाजा नहीं खटखटाएंगी, बल्कि पहले डॉट के पास जाएंगी। 5-जी और इंटरनेट ऑफ थिंग्स जैसी भविष्य की तकनीकों वाले युग में स्टैंडर्ड और सर्टिफिकेशन में आगे रहने का डॉट का लक्ष्य रखा गया है।
बीएसएनएल-एमटीएनएल विलय का प्रस्ताव नहीं
दूरसंचार मंत्री मनोज सिन्हा ने गुरुवार को कहा कि फिलहाल बीएसएनएल व एमटीएनएल के विलय का कोई प्रस्ताव नहीं है। उन्होंने कहा कि विलय के बजाय दोनों कंपनियों में आपसी सामंजस्य बढ़ाने के तरीकों पर विचार किया जा रहा है, ताकि दोनों का भला हो सके।